‘अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद (ABAP)’ के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरी का शव सोमवार (20 सितंबर, 2021) की शाम को संदिग्ध अवस्था में बरामद हुआ। कहा जा रहा है कि उन्होंने आत्महत्या कर ली। उत्तर प्रदेश के प्रयागराज स्थित बाघंबरी मठ में उनका शव मिला। वहाँ से 8 पन्नों का एक सुसाइड नोट भी पुलिस ने बरामद किया है। इसमें उन्होंने अपने ही एक शिष्य आनंद गिरी को अपनी आत्महत्या के लिए जिम्मेदार ठहराया है।
उत्तराखंड पुलिस ने आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला दर्ज करते हुए आनंद गिरी को हिरासत में ले लिया है। वहीं आनंद गिरी ने खुद को निर्दोष बताते हुए कहा है कि आश्रम से करोड़ों रुपयों की धोखाधड़ी करने वाले कुछ लोगों का इसमें हाथ है, जो उन्हें फँसाना चाहते हैं। IGP केपी सिंह ने बताया कि महंत का शव एक सीलिंग फैन से लटकता मिला था। सुसाइड नोट में उन्होंने खुद को मानसिक रूप से विक्षुब्ध बताया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा तक, देश के कई बड़े नेताओं ने उनके निधन पर दुःख जताया है। बाबा रामदेव ने उन्हें कभी न हार मानने वाला वीर और पराक्रमी योद्धा बताते हुए मामले की जाँच की माँग की। AAP और सपा जैसी पार्टियाँ भी जाँच की माँग कर रही है। ‘अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद’ देश में साधुओं की सबसे बड़ी संस्था है।
उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने इस मामले में निष्पक्ष जाँच का आश्वासन दिया है। नरेंद्र गिरी ने कुछ ही दिनों पहले इलाहाबाद उच्च-न्यायालय के उस आदेश का समर्थन किया था, जिसमें गाय को राष्ट्रीय पशु घोषित करने का सुझाव दिया गया था। उन्होंने केंद्र की राजग सरकार से इस सम्बन्ध में कानून बनाने की अपील की थी। उन्होंने कहा था कि गौसेवा हमारी जिम्मेमदारी है, लेकिन गायों की आज जो अवस्था है उसके लिए हम भी जिम्मेदार हैं क्योंकि वो जब तक दूध देती है, तभी तक हम उसकी सेवा करते हैं।
उधर नरेंद्र गिरी के शिष्य निर्भय द्विवेदी ने दावा किया है कि मौत से पहले महंत ने एक वीडियो भी बनाया था। बताया जा रहा है कि ये वीडियो पुलिस के पास है। वो बड़े-बड़े अक्षरों में लिखते थे। शिष्य का कहना है कि वीडियो में वो सभी बातें हैं, जो उन्होंने सुसाइड नोट में लिखी। उनकी भाषा टूटी-फूटी थी, लेकिन वो लिख लेते थे। आनंद गिरी ने भू-माफियाओं पर साजिश का आरोप लगाते हुए कहा है कि इसमें कई बड़े अधिकारी भी शामिल हैं और ये एक बड़ी साजिश का हिस्सा है।
8 पन्नों का सुसाइड नोट मिलने से पुलिस भी मान रही है कि वो लंबे समय से परेशान चल रहे थे। महंत नरेंद्र गिरी ने खुद को पुराने रिश्तों से परेशान बताते हुए लिखा था कि उन्होंने शान से अपना जीवन जिया है और मृत्यु भी शान से होगी। किस शिष्य को उनकी मृत्यु के बाद क्या मिलना चाहिए, ये सब भी लिखा है। वो दोपहर का भोजन करने के बाद कमरे में गए और काफी देर तक नहीं निकले। दरवाजा तोड़ा गया तो नजारा देख कर शिष्य सन्न रह गए।
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि की मौत के मामले में उनके शिष्य आनंद गिरी के खिलाफ आईपीसी की धारा 306 (आत्महत्या के लिए उकसाना) के तहत एफआईआर दर्ज़ की गई है। ये एफआईआर एक अन्य शिष्य अमर गिरी पवन महाराज द्वारा दर्ज़ कराई गई शिकायत के आधार पर दर्ज़ की गई है।
— ANI_HindiNews (@AHindinews) September 21, 2021
कमरे के दरवाजे चारों तरफ से बंद थे। पोस्टमॉर्टम और फॉरेंसिक रिपोर्ट के बाद पुलिस अपना बयान देगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने DGP को अपने आवास बुला कर इस मामले पर चर्चा की है। प्रयागराज पुलिस ने प्रसिद्ध लेटे हनुमान मंदिर के पुजारी और उनके बेटे को भी हिरासत में लिया है। जार्ज टाउन थाने में इस मामले की FIR दर्ज हुई है। यूपी पुलिस के 10 अधिकारियों की टीम हरिद्वार भी पहुँची है, जहाँ आनंद गिरी से पूछताछ हो रही है।
क्राइम सीन के साथ छेड़छाड़ की बातें भी कही जा रही है। आज सीएम योगी खुद घटनास्थल का दौरा करेंगे। देश भर के कई संत प्रयागराज पहुँच रहे हैं, जिसके बाद सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई और और ख़ुफ़िया एजेंसियों को काम पर लगा दिया गया है। प्रयागराज सांसद रीता बहुगुणा जोशी का कहना है कि आत्मबल के मामले में इतने मजबूत संत की आत्महत्या पर उन्हें यकीन नहीं हो रहा।
महंत नरेंद्र गिरि के कथित सुसाइड से पहले 6 से 10 घंटे के बीच जिन जिन लोगों से बात हुई है, उन सभी के नंबर निकाल कर पुलिस उनसे पूछताछ करेगी। इलाहाबाद हाईकोर्ट के अधिवक्ता सुनील चौधरी ने पत्र याचिका दाखिल कर CBI जाँच की माँग की है। नरेंद्र गिरी ‘श्री निरंजनी अखाड़ा’ के महंत थे। दोपहर बाद स्वरूप रानी अस्पताल में उनका पोस्टमॉर्टम होगा। उनके पार्थिव शरीर को अंतिम दर्शन के लिए भी रखा जाएगा।