जिन किसानों का CM अमरिंदर करते थे समर्थन, उन्होंने ही कॉन्ग्रेस सरकार के खिलाफ खोला मोर्चा; कहा- ‘नहीं मानेंगे लॉकडाउन’

वीकेंड लॉकडाउन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करते किसान

देश भले ही कोरोना महामारी की दूसरी लहर से जूझ रहा हो, लेकिन ‘किसान आंदोलन’ अभी भी थमने का नाम नहीं ले रहा है। किसान प्रदर्शनकारी पहले की तरह भीड़ जुटा रहे हैं और कुंभ व चुनावी रैलियों के खिलाफ आवाज़ उठाने वाला मीडिया शांत है। अब पंजाब में किसानों ने वहाँ लगे वीकेंड लॉकडाउन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया है। किसान प्रदर्शनकारियों ने ऐलान किया कि वो वीकेंड लॉकडाउन के दिशानिर्देशों का खुला उल्लंघन करेंगे।

पंजाब का कोई एक नहीं बल्कि कई किसान संगठन कोरोना दिशानिर्देशों की धज्जियाँ उड़ाते हुए सड़क पर उतरे। किसानों ने दुकानदारों पर दबाव बनाया कि वो अपनी दुकाने खोलें और सरकार का आदेश नहीं मानें, लेकिन दुकानदारों ने इससे इनकार कर दिया और कहा कि वो जिला प्रशासन जैसा बताएगा वैसा ही करेंगे। शनिवार (मई 8, 2021) को मोगा में भारतीय किसान यूनियन एकता (उग्राहान) के कार्यकर्ता बड़ी संख्या में जुटे।

संगठन के कार्यकर्ताओं ने नेचर पार्क में एकत्रित होकर राज्य व केंद्र सरकार के खिलाफ जम कर नारेबाजी की। नेचर पार्क से लेकर मोगा के जोगिंदर सिंह मुख्य पार्क तक मार्च निकाला। लेकिन, दुकानदारों के संघ ने किसानों का समर्थन नहीं किया। पठानकोट में भी किसानों ने निकल कर जबरदस्त विरोध प्रदर्शन किया। मुख्यमंत्री कैप्टेन अमरिंदर सिंह ने सभी जिला कमिश्नरों को अपने हिसाब से लॉकडाउन लगाने का निर्देश दिया था।

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मुख्यमंत्री ने ‘किसान संघर्ष मोर्चा’ के लॉकडाउन विरोधी प्रदर्शन को नजर में रखते हुए किसी भी तरह के उल्लंघन को सख्ती से निपटने के आदेश दिए थे। उन्होंने कहा था कि 32 किसान यूनियनों का मोर्चा सरकार पर अपनी राय नहीं थोप सकता। ये वही कैप्टेन अमरिंदर सिंह हैं, जिन्होंने दिल्ली की सीमाओं पर बैठे इन्हीं किसानों का कई बार समर्थन किया था। उन्होंने केंद्र सरकार को इनकी माँगें मान लेने की कई बार अपील की थी।

किसान नेताओं ने अपने भाषण में कहा कि हम लॉकडाउन को नहीं मानेंगे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को कड़ाई में ढील देनी चाहिए, ताकि केंद्र की भाजपा सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन और तेज़ हो। किसान नेता अपने साथ काफी महिला प्रदर्शनकारियों को भी साथ लाए थे। लाउडस्पीकर से दुकानदारों से अपील की जा रही थी कि वो अपनी दुकानें खोलें। प्रदर्शन को देखते हुए बड़ी संख्या में पुलिस की तैनाती हुई थी।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया