कर्नाटक के कॉन्ग्रेस विधायक विनय कुलकर्णी को सुप्रीम कोर्ट ने जमानत देने से इनकार कर दिया है। कुलकर्णी की गिरफ्तारी भाजपा के जिला पंचायत सदस्य योगेश गौड़ा की हत्या मामले में साल 2020 में हुई थी और उन्हें 2021 में जमानत मिली थी।
हालाँकि, कुछ समय पहले खबर आई कि राज्य सरकार ने माँग की है कि कुलकर्णी की बेल रद्द की जाए क्योंकि उन्होंने गवाहों को प्रभावित करने का प्रयास किया है। इसके बाद उस समय ही कोर्ट ने फैसला लेते हुए जमानत को रद्द कर दिया और उन्हें एक हफ्ते के भीतर सरेंडर करने को कहा।
कोर्ट का कहना है कि मामले में कई ऐसे सबूत मिले हैं जिससे पता चलता है कि विनय ने गवाहों से संपर्क कर उन्हें प्रभावित करने की कोशिश की है।
गौरतलब है कि बीजेपी जिला पंचायत सदस्य योगेश गौड़ा की जून 2016 में एक जिम में हत्या कर दी गई थी, जिसके बाद सीबीआई ने हत्या में कथित संलिप्तता के आरोप में नवंबर 2020 में विनय कुलकर्णी को गिरफ्तार किया था। वहीं अगस्त 2021 में जमानत दी गई थी।