हाल ही में सामान्य वर्ग के आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों को 10% आरक्षण की घोषणा के बाद मोदी सरकार अब OBC वर्ग का दायरा बढ़ाने की कोशिश कर रही है। पिछले कुछ सालों में कई जातियों ने खुद को इस वर्ग का हिस्सा बनाकर आरक्षण का लाभ उठाने के लिए कई आंदोलन किए हैं। ताज़ा जानकारी के अनुसार अब मोदी सरकार OBC में शामिल जातियों पर नए सिरे से विचार करने जा रही है।
OBC कमीशन की रिपोर्ट चुनाव से पहले ही पेश होगी, इस बात की उम्मीद की जा रही है। इस सन्दर्भ में हर मंत्रालय से उनके यहाँ कार्य करने वाले OBC कर्मचारियों की जाति और संख्या का ब्यौरा माँगा गया है। माना जा रहा है कि आने वाले बजट सत्र में, जनवरी 31 से फ़रवरी 13, मोदी सरकार इस सन्दर्भ में OBC जातियों में, कमीशन की रिपोर्ट के आधार पर, उनकी सामाजिक और आर्थिक स्थिति को नज़र में रखते हुए उनकी समुचित हिस्सेदारी और प्रतिनिधित्व तय करेगी। कई ऐसी जातियाँ हैं जिन्होंने अपने आरक्षण के हक़ के लिए लगातार आवाज़ उठाई है, कमीशन की रिपोर्ट से पता चलेगा कि उनकी सामाजिक स्थिति कैसी है और क्या वो सच में आरक्षण के हक़दार हैं।
इससे पहले, मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि देश भर के 40,000 कॉलेज व 900 यूनिवर्सिटी में इसी साल से सामान्य वर्ग के छात्रों के लिए 10% आरक्षण कोटा लागू किया जाएगा। मंत्री ने अपने बयान में कहा कि छात्रों को सरकारी व ग़ैर-सरकारी, दोनों ही तरह के, संस्थानों में आरक्षण का लाभ मिलेगा। इसके आलावा मंत्री ने यह भी कहा कि वर्तमान कोटे में किसी तरह से छेड़छाड़ किए बिना 10% अतिरिक्त कोटा के ज़रिए इस कैटेगरी के छात्रों को आरक्षण का लाभ दिया जाएगा। प्रकाश जावड़ेकर ने यह भी कहा कि आरक्षण कोटा को लागू करने के लिए कॉलेज व यूनिवर्सिटी में 25% सीटों में भी वृद्धि की जाएगी।
इसी सप्ताह, गुजरात के बाद दूसरे भाजपा शासित राज्य झारखंड ने समान्य वर्ग के आर्थिक रूप से कमज़ोर लोगों के लिए आरक्षण लागू किया। झारखंड सरकार ने केंद्र सरकार द्वारा समान्य वर्ग के आर्थिक रूप से कमज़ोर लोगों को सरकारी नौकरी व शिक्षा में दिए जाने वाले 10% आरक्षण को लागू कर दिया है। राज्य सरकार के इस फ़ैसले के बाद अब झारखंड में रहने वाले समान्य वर्ग के लोगों को 15 जनवरी 2019 के बाद आरक्षण का लाभ मिल सकेगा। झारखंड सरकार ने अपने घोषणा पत्र में कहा – “15 जनवरी 2019 के बाद ज़ारी होने वाली बहाली में समान्य वर्ग के लोगों को 10 फ़ीसद आरक्षण का लाभ मिल सकेगा।”
जनवरी 12, 2019 को केंद्रीय न्याय एवं विधि मंत्रालय ने इस सम्बन्ध में अधिसूचना ज़ारी करते हुए कहा कि संविधान के 103वें संशोधन, 2019 को मंजूरी प्रदान कर दी गई है। इसे अनुच्छेद 15 तथा 16 के अंतर्गत पारित किया गया है। इस अधिसूचना के ज़ारी होने के साथ ही 8 लाख से कम सालाना आमदनी वाले सामान्य वर्ग के गरीबों को आरक्षण मिलने का रास्ता साफ़ हो गया है। इस क़ानून के अंतर्गत सरकार को शैक्षणिक संस्थानों और सरकारी नौकरियों में सामान्य वर्ग के गरीबों को 10 प्रतिशत आरक्षण देने का अधिकार होगा।