मुजफ्फरपुर शेल्टर होम रेप केस में एक अज्ञात "तोंद वाले अंकल नेताजी" और एक "मूछ वाले अंकल जी" की भूमिका सामने आई है। पीड़ित बच्चियों ने इन दोनों ही अज्ञात 'अंकलों' पर उनका यौन शोषण करने का आरोप लगाया है। CBI ने जाँच के लिए 6 महीने का समय माँगा था लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने 3 महीने का अल्टीमेटम दिया है।
एअरपोर्ट पर जब अतीक अहमद उतरा, तो साथ में पुलिस होने के बावजूद उसके समर्थकों ने उसका स्वागत किसी बड़े नेता की तरह किया। अतीक अहमद की जेब में 2000 रुपए के नोटों की गड्डियाँ साफ़-साफ़ झलक रही थीं। वह शान से फूलों की माला पहन हाथ हिलाता चल रहा था।
बच्ची अपने भाई-बहनों के साथ जन्नति दरवाजे के सामने बैठी थी जहाँ पर तीनों खेल रहे थे। तभी शाम करीब 7 बजे रोजा इफ्तारी के समय 3 साल की छोटी बेटी गायब हो गई। इसके बाद बच्ची की माँ ने दरगाह में मौजूद लोगों की सहायता से गुम हुई बेटी की तलाश शुरू की।
स्थिति को गंभीर समझते हुए रिटायर्ड सीजेआइ लोढ़ा ने एक लाख रुपए तुरंत उस बैंक खाते पर भेज दिए। इसके बाद 30 मई को जब जस्टिस बीपी सिंह से उनकी बात हुई तो पता चला कि उन्होंने ऐसा कोई मेल भेजा ही नहीं था। इसके बाद उन्हें एहसास हुआ कि उनके साथ ठगी हुई है।
वीडियो में आधा दर्जन से अधिक लोग सेना के दोनों जवानों को लाठी डंडों से पीटते नजर आ रहे हैं। पुलिस के अनुसार मामले को लेकर अब तक सात लोगों को अरेस्ट किया गया है। इनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।
पुलिस ने फरियादी कुलदीप यादव की रिपोर्ट पर प्राचार्य गौतम के खिलाफ मामला दर्ज तो कर लिया था, लेकिन लोगों की माँग के अनुसार 295-ए नहीं लगाई थी। जिसके चलते सुबह भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष विक्रम सिंह बुंदेला के नेतृत्व में तमाम कार्यकर्ता एसपी डी.कल्याण चक्रवर्ती से मिले।
कमाल की बात यह है कि बीते सोमवार को चोर मूर्ति को चुराकर ले गया था और शुक्रवार को दोपहर में खुद ही भागा-भागा मूर्ति लौटाने मंदिर पहुँच गया। उसकी पूरी कहानी बेहद दिलचस्प है
उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में ऑनर किलिंग का एक मामला सामने आया है। बताया जा रहा है कि मृतक महिला और उसका पति दोनों अलग-अलग धर्म के थे। दोनों पड़ोस के एक गाँव से घर लौट रहे थे, तभी रास्ते में महिला के भाइयों ने उन पर गोली चला दी।
शुक्रवार को हुई यह घटना इस साल की 150वीं ऐसी घटना है जिसमें चार से ज्यादा लोगों पर हमला हुआ या फिर उनकी मौत हुई। मेयर बॉबी दायर ने इस घटना के बारे में कहा है कि ये दिन वर्जिनिया बीच के इतिहास का सबसे काला/विनाशकारी दिन है।