Sunday, November 24, 2024

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Narendra Modi

अभी असली मजे ‘भक्त’ ही ले रहे हैं, बाकियों को आ रही है खट्टी डकारें

"भेन मायावती तो सुषमा स्वराज के बाद देश की दूसरी सबसे ग़जब की वक्ता हैं हीं, इसलिए उनकी बातेंऊँ सारी सही हैं, लेकिन एक सही बात आज हमहूँ कहि दे रहे हैं, चाहें तो लिख कें ले लेओ कि दुनिया इतें की वितें हे जाय, आवेगो तो मोदीअई"

#ऐसी दीवानगी देखी नहीं कहीं: 36 मिनट में राहुल ने 27 बार नरेंद्र मोदी को किया याद

दून के परेड मैदान में रैली करते हुए मोदी का नाम लेने के अलावा राहुल ने वहाँ की जनता के सामने दावा किया कि इस बार कॉन्ग्रेस की सरकार बनने वाली है।

कॉन्ग्रेस औंधे मुँह गिरने को तत्पर, मोदी को कोसने के सिवा नहीं बचा कोई काम

इस सवाल का जवाब कॉन्ग्रेस बखूबी जानती है कि मोदी ने जिस कुशलता के साथ अपने कार्यकाल को पूरा किया है, वो कॉन्ग्रेस से 70 सालों में नहीं हो सका। राहुल गाँधी और कॉन्ग्रेस पार्टी का गिरता स्तर पता नहीं कब क्या नया बखेड़ा खड़ा कर दे, इसके बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता।

कॉन्ग्रेस ने 60 साल तक लुटेरों को शरण दी, BJP ने सिर्फ 66 मामलों से ही वसूले ₹80,000 करोड़

भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड और एस्सार स्टील इंडिया लिमिटेड जैसे बड़े 12 मामलों में से कुछ रिज़ॉल्यूशन के उन्नत चरणों में हैं और इस वित्तीय वर्ष में हल होने की संभावना है, जिसमें लगभग 70,000 करोड़ रुपए प्राप्त होने की उम्मीद है।

कॉन्ग्रेस भारत का वो बेजोड़ विपक्ष है जिसकी तलाश राष्ट्रवादियों को 70 सालों से थी

मोदी सरकार पर दबाव बनाने के लिए कॉन्ग्रेस अकेले मैदान में नहीं रही बल्कि उसने अपने गोदी मीडिया, सस्ते कॉमेडियन्स, न्यूट्रल पत्रकारों के गिरोह और अवार्ड वापसी गैंग जैसी घातक टुकड़ियों को भी इस प्रक्रिया में एड़ी-छोटी का जोर लगाने पर मजबूर किया।

चीन से भी MFN दर्ज़ा वापस लो: RSS के स्वदेशी जागरण मंच की सरकार से अपील

आरएसएस के स्वदेशी जागरण मंच के अखिल भारतीय सह-संयोजक डॉक्‍टर अश्विनी महाजन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखकर पाकिस्‍तान की ही तरह चीन से भी मोस्ट फेवर्ड नेशन (MFN) का दर्जा वापस लेने की माँग की है।

30 साल में यह पहला ऐसा चुनाव है, जब PM के अलावा कोई और PM का उम्मीदवार नहीं

ऐसे में सिर्फ एक व्यक्ति बचता है जो अभी प्रधानमंत्री है, और आगे भी हर हाल में प्रधानमंत्री बनना चाहता है। जिसके पास न अब सत्ता और षड्यंत्रों के अनुभवों की कमी है, न संसाधनों की, न समर्थकों की, न ऊर्जा की, न मुद्दों की और न ही दिलेरी की।

आतंकवाद से लड़ने में PM मोदी जितने कठोर नहीं थे मनमोहन सिंह: शीला दीक्षित

एक निजी चैनल को दिए इंटरव्यू में शीला दीक्षित ने स्वीकार करते हुए कहा कि मनमोहन सिंह आतंकवाद से लड़ने में उतने कठोर नहीं थे, जितने कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं।

आँकड़ेबाजी: मोदी के आने के बाद जागरूक हुई जनता, कई विजयी उम्मीदवारों को मिल रहे 50% से अधिक मत

नरेंद्र मोदी बनारस लोकसभा क्षेत्र से 56.37% और वडोदरा से 72.75% मत पाकर विजयी हुए। साथ ही गुजरात, उत्तराखंड और हिमाचल में भारतीय जनता पार्टी के सभी उम्मीदवार 50% से अधिक मत पाकर जीते। मतदाताओं में चुनाव को लेकर जागरूकता आई है।

सहयोगी दलों को साथ रखने की कला जानते हैं मोदी-शाह, कॉन्ग्रेस की एकता बस मंचों तक ही सीमित

जिन्हे विपक्षी तानाशाह कहते हैं, उन्होंने छोटे से छोटे दलों को भी गले लगाया, गठबंधन बचाया, नया गठबंधन बनाया। जो मंचों से एकता का नारा देते फिरते हैं, वे ही एक-दूसरे के साथ गठबंधन नहीं कर पाए। राजग आज भी समावेशी है।

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