‘साइड इफेक्ट का पता चलते ही मोदी ने अपनी फोटो हटवाई’: कोविड वैक्सीन सर्टिफिकेट से PM की तस्वीर हटते ही झूठ फैलाने लगा गैंग, जानिए सच्चाई

प्रशांत भूषण ने फैलाया झूठ

लोकसभा चुनावों के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ फर्जी जानकारी फैलाने का काम जारी है। इस दौरान मोदी विरोधी लोग फैला रहे हैं कि जब से कोविशील्ड के बारे में जानकारी आई है उसके बाद वैक्सीन सर्टिफिकेट से उनकी तस्वीर गायब हो गई है।

देख सकते हैं कि कैसे स्क्रीनशॉट लेकर पीएम मोदी पर उंगली उठाई जा रही है। सुप्रीम कोर्ट के वकील प्रशांत भूषण ने भी इसे शेयर किया हुआ है। अपने ट्वीट में उन्होंने दावा किया है कि जैसे ही कोविड वैक्सीन के घातक परिणामों के बारे में पता चला, मोदी ने अपनी फोटो वैक्सीन सर्टिफिकेट से हटवा ली है। आगे प्रशांत भूषण लिखते हैं- ये मोदी का कमाल है।

अब हकीकत क्या है? क्या सच में नरेंद्र मोदी ने कोविशील्ड पर जानकारी आने के बाद अपनी फोटो हटवाई है और उनके ऊपर उठाई जा रही उंगलियाँ सही है या फिर ये एक प्रोपगेंडा का हिस्सा है जिसे लोकसभा चुनावों में चलाया जा रहा है।

हमारी पड़ताल में सामने आया है कि वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट से पीएम मोदी की तस्वीर इसलिए हटाई गई है, क्योंकि लोकसभा चुनाव को लेकर आदर्श आचार संहिता लागू है। यानी, हकीकत यह है कि पीएम मोदी ने या भाजपा ने इस फोटो को नहीं हटवाया है बल्कि आचार संहिता लागू होने के कारण यह तस्वीर हटाई गई है।

दिलचस्प बात ये है कि ये तस्वीर पहली बार कोविड वैक्सीन से नहीं रिमूव हुई है। साल 2022 में भी ऐसा हो चुका है। 2022 में गोवा, मणिपुर, उत्तराखंड, पंजाब और उत्तर प्रदेश समेत कई राज्यों में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान भी प्रधानमंत्री की तस्वीर सर्टिफिकेट से हटा दी गई थी।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया