‘पानी की टंकी में भर रखे थे पत्थर, अल्लाहू अकबर का नारा लगा रही थी दंगाई भीड़’: हल्द्वानी में चश्मदीद ने जो देखा, सब कुछ ऑपइंडिया को बताया

हल्द्वानी की हिंसा के चश्मदीद दीपांशु चलाते हैं फोटोग्राफी की दुकान

उत्तराखंड के हल्द्वानी में कोर्ट के आदेश के बाद अवैध संरचनाओं को ध्वस्त करने के लिए प्रशासन बुलडोजर लेकर पहुँचा, लेकिन मुस्लिम भीड़ उग्र हो गई और उसने पत्थरबाजी शुरू कर दी। इसके बाद हिंसा, आगजनी और गोलीबारी का दौर चला। थाना और पेट्रोल पंप फूँक दिया गया। वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया गया। घटना के बीच एक शख्स का वीडियो भी वायरल हुआ था, जो बाइक पर बैठा हुआ है। उसने पत्थरबाजी के बीच वीडियो बना कर बताया था कि क्या हो रहा है।

वीडियो में वो कहता दिख रहा है कि जब पुलिस के जवानों पर पथराव हो सकता है तो आप और हम क्या हैं। वीडियो में वो कहता है, “ये है भाईचारा। आइए, भाईचारा दिखाता हूँ आपको।” उसने कैमरे में दिखाया कि कैसे पुलिस पर पत्थरबाजी हो रही है। ऑपइंडिया ने वायरल वीडियो में दिख रहे शख्स को ढूँढ निकाला है। उसका नाम दीपांशु है। दीपांशु ने ऑपइंडिया से बात करते हुए बताया कि ये वीडियो गुरुवार (8 फरवरी, 2024) को शाम 5 बजे के बाद का है।

उन्होंने बताया कि वो मौके पर ही मौजूद थे, वो कहीं से आ रहे थे और अफरा-तफरी का माहौल देख कर उन्हें पता चला कि अवैध मस्जिद-मदरसा पर बुलडोजर चलाने के कारण भीड़ ने हमला कर दिया गया। बकौल दीपांशु, उन्होंने देखा कि 100-150 की संख्या में महिला कर्मचारी खुद की जान बचाती हुई हेलमेट पहन कर भागती हुई आ रही थीं। उन्होंने बताया कि उनमें से कई घायल थीं, जिनमें से कुछ को उनलोगों ने अस्पताल छोड़ा। दीपांशु ने बताया कि उन्होंने खुद घायलों को पानी पिलाया और अस्पताल छोड़ा।

‘पुलिस वालों को मुस्लिम पानी पिला रहे थे’ – इस नैरेटिव पर दीपांशु ने कहा कि उन्होंने ऐसा कुछ नहीं देखा है, मुस्लिम तो पत्थर चला रहे थे। दीपांशु ने कहा कि सरकारी विभाग के अधिकतर अधिकारी चोटिल थे, किसी के सिर, किसी के पाँव तो किसी के हाथ से खून निकल रहा था। दीपांशु ने बताया कि उन्हें देख कर बड़ा दुःख हो रहा था कि जब वर्दी वाले ही पीड़ित हैं तो आम लोग क्या हैं, वो रो-तड़प रहे थे। उन्होंने कहा कि जो लोग हिन्दू-मुस्लिम भाईचारा की बात करते हैं, उनके लिए उन्होंने वीडियो बताया।

दीपांशु ने बताया कि महिला कॉन्स्टेबल रो रही थीं, बता रही थीं कि उन्हें चोट लगी है। उन्होंने कहा, “सोचिए, किसी व्यक्ति के ऊपर ईंट पड़ेगी तो वो कितना रोएगा। बहुत दर्दनाक मंजर था। हमलावर छत से पत्थर फेंक रहे थे, टंकी में पानी की जगह पत्थर भरे थे। वीडियो सर्वे में कोई पत्थर नहीं मिला था, वो छिपा कर रखे गए थे। VHP और ‘बजरंग दल’ के कार्यकर्ताओं ने ब्लड डोनेट किया। इसमें प्रशासन की कोई गलती नहीं है। सरकारी आदेश पर वो ड्यूटी करने आए थे।”

दीपांशु ने बताया कि ‘अल्लाहु अकबर’ के नारे लग रहे थे। उन्होंने बताया कि कॉन्ग्रेस विधायक सुमित हृदयेश अब भी दंगाइयों के साथ हैं। उन्होंने कहा कि पुलिस-प्रशासन ने किसी को टॉर्चर नहीं किया, उलटे उन्हें राक्षसों की तरह मारा गया। दीपांशु फोटोग्राफी की दुकान चलाते हैं। बता दें कि हल्द्वानी की डीएम वंदना सिंह ने बताया था कि पुलिस वालों को ज़िंदा लगाने की कोशिश की गई थी। घटना के बाद हल्द्वानी के बनभूलपुरा में कर्फ्यू लगा दिया गया और दंगाइयों को देखते ही गोली मारने के आदेश जारी किए गए।

राहुल पाण्डेय: धर्म और राष्ट्र की रक्षा को जीवन की प्राथमिकता मानते हुए पत्रकारिता के पथ पर अग्रसर एक प्रशिक्षु। सैनिक व किसान परिवार से संबंधित।