ट्रेन में चोरी करता था उम्मेद पहलवान, नेता बनने के चक्कर में लोनी कांड की साजिश: 14 दिन की न्यायिक हिरासत में

उम्मेद पहलवान ने ट्रेन में चोरी से की शुरुआत, राजनीतिक महत्वाकांक्षा में रचा लोनी कांड (साभार: अमर उजाला)

गाजियाबाद के लोनी में बुजुर्ग की पिटाई के मामले में आरोपी उम्मेद पहलवान को गाजियाबाद कोर्ट ने 14 दिन की नायिका हिरासत में भेज दिया है। उम्मेद पहलवान को पुलिस ने डासना जेल भेजा है।

गाजियाबाद पुलिस के मुताबिक, एफआईआर दर्ज होने के बाद खुद को फँसता देख उम्मेद पहलवान बुजुर्ग अब्दुल समद से एफिडेविट तैयार कराने वाला था। अब्दुल समद से उम्मेद एफिडेविट में लिखवाना चाहता था कि ‘जय श्रीराम’ न कहने पर ही उसे पीटा गया और दाढ़ी काटी गई। उम्मेद चाहता था कि इससे यह साबित हो जाए कि जय श्रीराम विवाद के बाद ही वह फेसबुक लाइव किया था और वह जाँच में बच जाए।

गाजियाबाद के एसएसपी अमित पाठक ने बताया कि गिरफ्तारी के बाद पूछताछ में पहले तो उम्मेद ने गुमराह किया, लेकिन जब सिलसिलेवार तरीके से पूछताछ हुई तो उम्मेद ने अपना जुर्म कबूल कर लिया।

पुलिस ने गिरफ्तारी के बाद उम्मेद के खिलाफ कुछ धाराएं एफआईआर में और बढाई हैं। पुलिस के अनुसार, राजनीतिक महत्वाकांक्षा के चलते उम्मेद ने यह सारा मामला रचा था। आपको बता दें कि गाजियाबाद में बुजुर्ग से मारपीट और दाढ़ी काटने के मामले में सभी 11 आरोपित गिरफ्तार किए जा चुके हैं।

उम्मेद पहलवान ने कुबूल किया कि फेसबुक पर भड़काऊ लंबे वीडियो लाइव करने के पीछे उसका मकसद सियासी फायदा लेना था। वह खुद को लोनी में कट्टर धार्मिक नेता के रूप में स्थापित करना चाहता था और पालिका चेयरमैन या विधानसभा का चुनाव लड़ना चाहता था। कट्टर छवि के जरिए वह वोटों का ध्रुवीकरण करने की सोच रहा था।

एसपी देहात डॉ. ईरज राजा ने उससे हुई पूछताछ के हवाले से बताया कि उसे इसकी जानकारी थी कि बुलंदशहर के अनूपशहर निवासी तांत्रिक अब्दुल समद की दाढ़ी लोनी निवासी प्रवेश गुर्जर ने इसलिए काटी, क्योंकि दोनों के बीच विवाद हो गया था। समद ने प्रवेश को ताबीज बनाकर दिया था। इसके बाद प्रवेश की परेशानियाँ और बढ़ गई। बकौल एसपी, उम्मेद ने बताया कि उसे लगा कि अगर इस घटना को सांप्रदायिक रंग मिल गया तो उसके लिए चेयरमैन के चुनाव की राह आसान हो जाएगी।

गौरतलब है कि लोनी बॉर्डर इलाके में उम्मेद पहलवान का काफी रुतबा था, इसीलिए उसने जानबूझकर लोनी बॉर्डर थाने में मुकदमा दर्ज करवाया और घटनास्थल को लोनी बॉर्डर बताया, जबकि जाँच में पता चला कि बुजुर्ग की पिटाई की घटना प्रवेश के घर बंथला में हुई थी। उम्मेद बुजुर्ग के साथ मारपीट करने के एक आरोपित इंतजार का काफी करीबी है, जबकि उम्मेद पहलवान प्रवेश को नापंसद करता है।

बता दें कि उम्मेद पहलवान ने सबूत मिटाने के लिए अपने मोबाइल फोन की कई चैट्स डिलीट की हैं। गाजियाबाद पुलिस ने उम्मेद की चैट्स बरामद करने के लिए WhatsApp को लेटर लिखा है। इसके अलावा गाजियाबाद पुलिस IPDR के जरिए डिजिटल रिकॉर्ड भी हासिल करेगी।

बार-बार बदल रहा था अपनी जगह

गिरफ्तारी से बचने के लिए उम्मेद पहलवान बार-बार अपनी जगह बदल रहा था। उसे डर था कि पुलिस उसे गोली मारकर गिरफ्तार करेगी, इसी वजह से वह सरेंडर करने की फिराक में था। यह बात उसने कहा था कि एक जानकार ने उसे पुख्ता सूचना दी है कि यूपी पुलिस दो गोली मारकर उसे गिरफ्तार करेगी। पुलिस रास्ते में उसकी गाड़ी भी पलटवा सकती है। 

पुलिस के मुताबिक केस दर्ज होने से पहले उम्मेद बुलंदशहर गया था। गत बुधवार को जिस वक्त पुलिस उसके खिलाफ केस दर्ज कर रही थी, वह अनूपशहर से फेसबुक लाइव कर रहा था। पुलिस के पहुँचने से पहले ही उसने बुलंदशहर छोड़ दिया। बृहस्पतिवार को वह नोएडा सेक्टर-16 फिल्म सिटी में रुका। 

पुलिस के मुताबिक, उम्मेद को लोकनायक जयप्रकाश अस्पताल में खुद का चेकअप कराने जाना था। सरेंडर करने से पहले उसकी योजना खुद को अस्पताल में भर्ती कराने की थी, लेकिन पुलिस को भनक लग गई और अस्पताल के पास से उसे गिरफ्तार कर लिया। पुलिस से बचने के लिए उम्मेद घर से दस दिनों के खर्चे के पैसे लेकर गया था।

एसपी ग्रामीण ने बताया कि दिल्ली में एलएनजेपी अस्पताल के पास पुलिस जैसे ही उसकी कार की तरफ बढ़ी तो उसने विपरीत दिशा में कार दौड़ा दी। इस दौरान इंस्पेक्टर नागेंद्र चौबे सड़क पर गिरकर चोटिल हो गए। इसके बाद अन्य दो टीमों ने घेराबंदी की तो उम्मेद ने पैदल ही फरार होने की कोशिश की, लेकिन उसे पकड़ लिया गया।

उम्मेद ने किन्नर समेत तीन से किया निकाह

पुलिस के मुताबिक, आपराधिक जीवन की शुरुआत में उम्मेद अटैची चोरी करके चलती ट्रेन से कूद जाता था, इसीलिए वह उम्मेद कूदा के नाम से कुख्यात हो गया। उम्मेद के अब तक तीन निकाह करने की बात सामने आई है। इनमें एक निकाह किन्नर और दूसरा मुजफ्फरनगर दंगे के बाद एक विधवा से किया था

हालाँकि, किन्नर से किया निकाह चंद दिनों में टूट गया था। एसपी ग्रामीण का कहना है कि कुछ बातों को उम्मेद ने स्वीकार किया है तो कुछ को इनकार किया है। कुछ केसों में उसे क्लीन चिट मिल चुकी है।

इसके अलावा, पिछले वर्ष लॉकडाउन के दौरान लोनी थाना क्षेत्र में पुलिस अधिकारियों ने क्षेत्र के संभ्रांत लोगों के साथ बैठक की। इसमें कोरोना से बचाव के लिए लॉकडाउन का पालन करने व दो गज की दूरी रखने की अपील की गई थी, लेकिन इसी बैठक में उसने लोगों से गले मिलकर कोराना जैसी कोई बीमारी न होने का दावा किया था।

उम्मेद पर अब तक दर्ज मामले

  • -2006 में पिलखुआ थाने में जानलेवा हमले का केस दर्ज हुआ।
  • -2017 में लोनी बॉर्डर थाने में गोवध निवारण अधिनियम के तहत केस दर्ज हुआ।
  • -2018 में साहिबाबाद थाने में महिला से छेड़छाड़ का केस दर्ज हुआ। घटना की वीडियो वायरल हुई थी।
  • -2018 में लोनी बॉर्डर थाने में हत्या की कोशिश व बलवे का केस दर्ज हुआ।
  • -2021 में 16 जून को लोनी बॉर्डर थाने में धार्मिक भावना आहत करने का केस दर्ज हुआ।
ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया