CAA विरोधी हिंसक प्रदर्शनों के दौरान चर्चा में आईं उजमा परवीन ने सोमवार (27 मार्च 2023) को एक झूठा ट्वीट करके कई लोगों को गुमराह किया। उन्होंने सोशल मीडिया पर नमाज़ पढ़ते अपना वीडियो शेयर किया और कहा कि ये नमाज लखनऊ विधानसभा के आगे बैठकर पढ़ी गई है। इस बात पर उन्हें कई लोगों ने शाबाशी दी। हालाँकि अब पुलिस ने उजमा की पोल खोलते हुए कहा है कि नमाज़ को विधानसभा के बजाय एक मजार के आगे पढ़ा गया। इस झूठ को फैलाने के आरोप में पुलिस ने उजमा पर FIR भी दर्ज कर ली है। वहीं पोल खुलने के बाद सोशल मीडिया के कई मुस्लिम यूजर्स भी उजमा को ट्रोल कर रहे हैं।
यह मामला लखनऊ के थानाक्षेत्र हुसैनगंज का है। मामले में शिकायतकर्ता थाने के ही पुलिस सब इंस्पेक्टर सागर खुराना हैं। 29 मार्च 2023 (बुधवार) को उनके द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत में उजमा के ट्विटर हैंडल पर शेयर फोटो और लिखे गए शब्दों का हवाला दिया गया है। इसमें लिखा गया था, “अलहम्दुलिल्लाह लखनऊ विधानसभा के सामने असर की नमाज़ अदा की। जो यह कहते हैं हमारी नमाज़ पर पाबंदी लगा देंगे तो हम भी अपने हिंदुस्तान की हर सरज़मीन पर नमाज पढ़कर दिखा देंगे। हमारा देश आजाद है इसीलिए मुझे आज़ादी से नमाज पढ़ने का अधिकार है।”
पुलिस के मुताबिक उजमा द्वारा विधानसभा के आगे नमाज पढ़ने का दावा झूठा है। यह नमाज़ विधानसभा से कुछ दूर सड़क के किनारे बनी एक मजार के आगे पढ़ी गई थी। पुलिस ने इस हरकत को समाज में अशाँति फैलाने वाला बताते हुए उजमा पर IPC की धारा 153, 200, 283 और 290 के साथ IT एक्ट की धारा 66 के तहत केस दर्ज कर लिया है।
पोल खुलने के बाद भी जारी रहे ट्वीट
पोल खुलने के बाद भी उजमा ने अपनी बयानबाजी जारी रखी। उन्होंने ताबड़तोड़ ट्वीट कर के अपनी करतूत को चर्चा में रखने की पूरी कोशिश की। कई मीडिया रिपोर्ट्स में भी उजमा के झूठ को सच मान लिया गया। उजमा ने खुद उन मीडिया रिपोर्ट्स के स्क्रीनशॉट शेयर किए हैं।
झूठ पर मिली खूब शाबासी
उजमा के फैलाए झूठ को सच मान कर उन्हें सोशल मीडिया पर ढेर सारी बधाइयाँ मिलने लगीं। किसी ने उनके सम्मान में शायरी पढ़ी तो किसी ने भारी यादव ने उन्हें LOVE YOU तक बोल दिया। साहिल ने भी बेशक लिख कर दिल का निशान ट्वीट किया।
मुस्लिम यूजर्स ने ही बताया पब्लिसिटी स्टंट
हालाँकि उजमा की पोल खुल जाने के बाद मुस्लिम समाज के ही कई यूजर्स उनके खिलाफ खड़े हो गए। तमाम लोगों ने उजमा द्वारा शेयर वीडियो को पब्लिसिटी स्टंट बताया है। तमाम नेटीजेंस उजमा परवीन को ट्रोल कर रहे हैं।
उजमा खुद को समाजिक और मानवाधिकारी कार्यकर्ता बताती हैं। फिलहाल लखनऊ पुलिस पूरे मामले की जाँच कर रही है।