एंटीलिया केस में निलंबित एपीआई सचिन वाजे की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। 28 मार्च को राष्ट्रीय जाँच एजेंसी इस केस में सबूत जुटाने के लिए वाजे को लेकर मीठी नदी के पास गई। इस दौरान NIA को नदी से गोताखोरों की मदद से कई महत्वपूर्ण सुराग हाथ लगे।
https://twitter.com/ANI/status/1376125911800553472?ref_src=twsrc%5Etfwमीडिया रिपोर्ट के मुताबिक नदी से जाँच अधिकारियों ने दो सीपीयू, एक लैपटॉप, 2 डिजिटल वीडियो रिकॉर्डर और 2 गाड़ियों के रजिस्ट्रेशन की नंबर प्लेट मिली है। हिंदुस्तान टाइम्स ने NIA के हवाले से कहा है कि पूछताछ के दौरान सचिन वाजे ने वारदात को अंजाम देने में इस्तेमाल किए गए सामानों को दिखाने के लिए मान गया था। जांच अधिकारियों का कहना है कि वाजे ने सबूतों को मिटाने की कोशिश की थी।
तीन घंटे की मशक्कत के बाद मिले अहम सबूत
एंटीलिया केस और मनसुख हीरेन की मौत की जाँच कर रही NIA अहम सबूत जुटाने के लिए सचिन वाजे को लेकर 28 मार्च की दोपहर 3:15 पर मीठी नदी के किनारे गई, जहाँ वाजे ने नदी में सबूतों को दफन कर दिया था। 10 गोताखोरों की टीम ने 3 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद उन सबूतों को ढूँढ निकाला, जिन्हें वाजे ने हथौड़े से तोड़कर नष्ट करने की कोशिश की थी। NIA का मानना है कि ये सबूत इस केस में अहम कड़ी हो सकते हैं।
https://twitter.com/bhartijainTOI/status/1376377103612973056?ref_src=twsrc%5Etfwवाजे ने सबूतों को हथौड़े से नष्ट करने की कोशिश की
NIA के मुताबिक सचिन वाजे ने लैपटॉप प्रिंटर को हथौड़े से तोड़कर मीठी नदी में फेंक दिया था। NIA अधिकारी ने हिंदुस्तान टाइम्स को बताया कि वाजे के पास इस केस से जुड़े सारे सबूत हैं, लेकिन जब उसे लगा कि मामले की जाँच दूसरी एजेंसी के पास चली गई है तो उसने इन्हें नष्ट करने की कोशिश की।