वैष्णो देवी मंदिर में भगदड़ से 12 लोगों की मौत: PM मोदी ने मृतकों के लिए ₹2 लाख और घायलों को ₹50 हजार देने की घोषणा की

माता वैष्णो देवी मंदिर में दुर्घटना (फोटो साभार: आज तक)

नए साल के पहले दिन माता वैष्णो देवी मंदिर में भगदड़ मचने के कारण कम-से-कम 12 श्रद्धालुओं की मृत्यु हो गई है, जबकि लगभग 26 लोगों के घायल होने की बात कही जा रही है। घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया है और घटनास्थल पर राहत एवं कार्य जारी है। वहीं, इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शोक व्यक्ति किया है। प्रधानमंत्री ने मृतकों के परिजनों को 2 लाख रुपए और घायलों को 50,000 रुपए देने की घोषणा की है।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, घटना तड़के लगभग 2:45 बजे की है। इस दुखद घटना के पीछे दो लोगों के बीच आपसी झगड़ा था। दो लोगों के बीच बहस धक्का-मुक्की में बदल गई, जो भगदड़ का कारण बनी। नए साल के शुरुआत होने के कारण बड़ी संख्या में दर्शनार्थी माता के दर्शन करने के लिए पहुँचे थे। इस घटना के बाद बहुत से श्रद्धालु वापस लौट गए। मृतकों में अधिकांश लोग दिल्ली, पंजाब और हरियाणा के बताए जा रहे हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस दुर्घटना पर शोक करते हुए कहा, ”माता वैष्णो देवी भवन में मची भगदड़ में लोगों की मौत से अत्यंत दुखी हूँ। सभी शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदना प्रकट करता हूँ। दुर्घटना में घायल लोगों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूँ। मैंने जम्मू-कश्मीर के उप-राज्यपाल मनोज सिन्हा जी और केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह जी से बात कर स्थिति की जानकारी ली।”

ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर डॉ. गोपाल दत्त ने बताया, ‘माता वैष्णो देवी मंदिर में भगदड़ से 12 लोगों की मौत हुई है, लेकिन अब तक सही आँकड़ा सामने नहीं आया है। घायलों को इलाज के लिए नारायणा अस्पताल में पहुँचाया गया है।” अब तक 14 घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया जा चुका है। 

जम्मू-कश्मीर के पुलिस महानिदेशक (DGP) दिलबाग सिंह ने बताया कि शुरुआती रिपोर्ट में हमें पता चला है कि यह हादसा कुछ लोगों के बीच हुई बहस के कारण हुई। बहस के बाद धक्का-मुक्की की स्थिति पैदा हो गई और इसके बाद लोग भागने लगे। इस तरह यह हादसा हुआ।

वैष्णो देवी मंदिर परिसर के ड्यूटी ऑफिसर जगदेव सिंह ने बताया कि अब तक मृतकों में से 7 लोगों की पहचान कर ली गई है। 5 अन्य लोगों की पहचान का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि अर्धकुँवारी और बाणगंगा यात्रा को रोक दिया गया है। जगदेव सिंह ने बताया कि मंदिर में लगभग 80 हजार श्रद्धालु पूजा-अर्चना के लिए पहुँचे थे। बताया जा रहा है कि श्राइन बोर्ड ने श्रद्धालुओं की संख्या तय नहीं की थी, जिसके कारण इतनी भारी संख्या में लोग पहुँच गए थे।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया