₹25 लाख, 2 मकान, लाइसेंसी हथियार, नौकरी, 24 घंटे सुरक्षा: सरकार ने मानी पीड़ित परिवार की सभी माँगें

उन्नाव में कड़ी सुरक्षा के बीच पीड़िता को दफनाने जाता परिवार (साभार: ANI)

उन्नाव गैंगरेप पीड़िता को जला कर मार डालने के बाद परिवार ने अंतिम संस्कार करने से इनकार कर दिया था। उनकी कुछ माँगे थीं, जिस पर वो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से आश्वासन चाहते थे। अब ख़बर आई है कि पुलिस ने उनकी माँगों को मान लिया है। पीड़िता के परिवार को मुआवजे के रूप में 25 लाख रुपए दिए जाएँगे। पुलिस कमिश्नर ने जानकारी देते हुए बताया कि पीड़िता की बहन को सरकारी नौकरी दी जाएगी। साथ ही पीड़ित परिवार को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान दिया जाएगा। परिवार की सुरक्षा का भी बंदोबस्त किया गया है। पीड़ित परिवार के घर पर भी पुलिस को तैनात किया जाएगा।

माँगों को माने जाने के बाद परिवार पीड़िता का अंतिम संस्कार करने पर राज़ी हो गया। परिवार को कुल 2 मकान दिए जाएँगे। पहले से जो मकान है, उसे पक्का किया जाएगा। लड़की की बहन को सुरक्षा देने के आलावा घर पर भी 24 घंटे सुरक्षा दी जाएगी। आर्म्स एक्ट के तहत पीड़िता के भाई को हथियार रखने की अनुमति दी जाएगी। हथियार का लाइसेंस भी उपलब्ध कराया जाएगा। साथ ही दोषियों के ख़िलाफ़ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। परिवार के राजी होने के साथ ही पीड़िता के पार्थिव शरीर को अंतिम संस्कार के लिए जे जाया गया। इस दौरान पुलिस बल मुस्तैदी से तैनात था।

पीड़िता के शव को दफनाया गया क्योंकि उसके भाई ने पहले ही कह दिया था कि 90% से भी अधिक शरीर जलने के बाद अंतिम संस्कार के लिए जलाने को कुछ बचा ही नहीं है। इससे पहले परिवार ने कहा था कि जब तक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ख़ुद मौके पर आकर आश्वासन नहीं देते, तब तक अंतिम संस्कार नहीं होगा। पीड़िता के भाई ने अपनी बहन के लिए स्मारक बनाने की बात भी कही है। उसे गाँव के बाहर परिवार की ज़मीन में ही दफनाया गया।

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पुणे से कुछ रिश्तेदारों के पहुँचने के बाद अंतिम संस्कार किया गया। पीड़ित परिवार से मिलने पहुँचे नेताओं का भी विरोध हुआ। स्थानीय सांसद साक्षी महाराज और पूर्व मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य का लोकल लोगों ने विरोध किया। लोगों ने नाराज़गी जताई। पूरे उत्तर प्रदेश में इस मुद्दे को लेकर विरोध प्रदर्शन जारी है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया