‘TMC को वोट क्यों देना? BJP को वोट करना बेहतर’: कॉन्ग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी का वीडियो वायरल, टीएमसी ने बताया भाजपा का ‘स्टार प्रचारक’

अधीर रंजन चौधरी (फोटो साभार : X_SushmitaDevAITC)

वरिष्ठ कॉन्ग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता अधीर रंजन चौधरी ने बुधवार (01 मई 2024) को पश्चिम बंगाल के बेरहामपुर में एक राजनीतिक रैली में बीजेपी के लिए वोटिंग की अपील कर दी। वायरल वीडियो में अधीर रंजन चौधरी वीडियो में कहते दिख रहे हैं, ‘टीएमसी को वोट देने के बजाय बीजेपी को वोट देना चाहिए।”

पश्चिम बंगाल के बहरामपुर लोकसभा सीट से पाँच बार के लोकसभा सांसद अधीर रंजन चौधरी ममता बनर्जी के तीखे आलोचकों में से एक हैं। वो बहरामपुर में लोकसभा चुनाव के लिए प्रचार करते समय मंच पर थे, तभी उन्होंने बंगाली में कहा, “टीएमसी को वोट क्यों दें, बीजेपी को वोट देना बेहतर है।” अधीर रंजन चौधरी का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।

वरिष्ठ पत्रकार पल्लवी घोष ने ये वीडियो एक्स पर शेयर करते हुए लिखा, “अधीर रंजन चौधरी बोल रहे हैं कि टीएमसी की जगह बीजेपी को वोट दें, ऐसे में इंडी अलायंस का क्या होगा?”

भले ही कॉन्ग्रेस और अन्य विपक्षी दल ‘INDI’ गठबंधन के बैनर तले “एकता” का दावा कर रहे हैं, लेकिन ज़मीनी स्थिति उस बात से बहुत दूर है, जिस पर विपक्ष देश को विश्वास दिलाना चाहता है। पश्चिम बंगाल में कॉन्ग्रेस और टीएमसी के बीच टकराव चल रहा है, खासकर ममता बनर्जी द्वारा इंडी गठबंधन को मामूली 2 सीटों की पेशकश के बाद, जिससे दोनों राजनीतिक दलों के बीच बातचीत खत्म हो गई। इसके बाद टीएमसी ने पश्चिम बंगाल की सभी 42 लोकसभा सीटों पर उम्मीदवारों की घोषणा कर दी।

बता दें कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर चौधरी द्वारा लगातार विरोध ने इंडी गठबंधन से हटने के फैसले को महत्वपूर्ण माना जाता है। हालाँकि इस बीच टीएमसी नेता सुस्मिता देव ने अधीर रंजन चौधरी पर जोरदार हमला बोला है। उन्होंने अधीर रंजन चौधरी को बंगाल में ‘बीजेपी का स्टार कैंपेनर’ बताया है।

बता दें कि पश्चिम बंगाल की सत्ताधारी पार्टी टीएमसी पहले इंडी गठबंधन में शामिल थी, लेकिन लोकसभा चुनाव के लिए सीटों के बँटवारे में वो इंडी गठबंधन से निकल गई। दोनों ही पक्ष एक-दूसरे को बीजेपी का सहयोगी बताते हैं। अधीर रंजन चौधरी के सामने टीएमसी ने पूर्व क्रिकेट यूसुफ पठान को मैदान में उतारा है। अधीर रंजन चौधरी बहरामपुर लोकसभा सीट से पाँच बार के सांसद हैं, लेकिन इस बार उनकी राह कठिन नजर आ रही है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया