एनडीटीवी के पत्रकार श्रीनिवासन जैन ने उस घटना को कमतर आँकने की कोशिश की है जिसमे कुछ गुंडों को एक मोदी समर्थक के घर में घुस कर उसके साथ मारपीट करते हुए दिखाया जा रहा है। असल में ट्विटर पर एक वीडियो शेयर किया गया, जिसमे कहा गया है कि किसी भाजपा समर्थक ने फेसबुक पर मनसे सुप्रीमो राज ठाकरे की आलोचना की थी जिसके बाद कुछ मनसे के गुंडों ने उसके घर मे घुस कर उसके साथ मारपीट किया। उस वीडियो में देखा जा सकता है कि उस घर में उक्त पीड़ित व्यक्ति का बीच-बचाव करने के लिए घर का एक बुज़ुर्ग सामने आता है। एक बुज़ुर्ग महिला भी सामने ही बैठी हुई है, जिनके सामने ही गुंडे मारपीट और गाली-गलौज में लगे हुए हैं।
https://twitter.com/SreenivasanJain/status/1117400365090189318?ref_src=twsrc%5Etfwइसके बाद एनडीटीवी के श्रीनिवासन जैन ने एक फेसबुक पोस्ट की तुलना वास्तविक मारपीट से कर दी। उसने ट्विटर पर लिखा ‘गुंडागर्दी को गुंडागर्दी से नहीं जीता जा सकता’। उस पत्रकार का यह मानना था कि भाजपा समर्थक ने फेसबुक पोस्ट में राज ठाकरे की आलोचना की, जो कि गुंडागर्दी है। और, बदले में राज ठाकरे की पार्टी के गुंडे जो कर रहे हैं, वो भी वही है। असल में उस पत्रकार ने वास्तविक गुंडागर्दी की तुलना भाजपा समर्थक के फेसबुक पोस्ट से करते हुए यह साबित करने का प्रयास किया कि दोनों ही एकसमान हैं, दोनों ही पक्षों की समान गलती है।
https://twitter.com/rahul_tiwari7/status/1117418581325574149?ref_src=twsrc%5Etfwइसके बाद एक अन्य ट्विटर यूजर ने भी इस हिंसा को सही ठहराते हुए कहा, ‘भक्त इसी भाषा को समझते हैं’। इस पर उसे जवाब देते हुए एक समझदार व्यक्ति ने पूछा कि अगर उसके मोदी-विरोधी स्टैंड के लिए कुछ गुंडे उसके घर में घुस आएँ और घर के बुज़ुर्गों व महिलाओं के सामने उसके साथ गाली-गलौज करने लगे और मारपीट करने लगे तो क्या आप इसका समर्थन करेंगे?
https://twitter.com/HowzzDJosh/status/1117470111261253632?ref_src=twsrc%5Etfwदिव्या नामक ट्विटर यूजर ने एनडीटीवी के प्रोपेगंडा परस्त पत्रकार से पूछा कि आख़िर वीडियो में दिख रहे पीड़ित ने ऐसी कौन सी गुंडागर्दी की थी? उसे रिप्लाई देते हुए एक अन्य यूजर ने कहा कि ये पत्रकार अपनी ही गुंडागर्दी की बात कर रहा है। इससे पहले जब लश्कर-ए-तैयबा ने आतंकी इशरत जहाँ और अन्य की मदद से पीएम मोदी की हत्या की योजना बनाई थी, तब इसी पत्रकार ने कहा था कि ये आतंकी बस छोटा-मोटा ब्लास्ट ही करना चाहते थे।