‘सीएम KCR को निमंत्रण नहीं भेजा गया’: PM मोदी के तेलंगाना में यूरिया संयंत्र का उद्धाटन को लेकर सत्ताधारी TRS की राजनीति, मंत्रालय ने खोली पोल

पीएम मोदी के साथ तेलंगाना के सीएम के चंद्रशेखर राव (फोटो साभार: india.com)

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) 12 नंवबर 2022 को तेलंगाना के रामागुंडम (Ramagundam, Telangana) में एक उर्वरक संयंत्र का उद्घाटन करेंगे। वहीं, राज्य की सत्ताधारी पार्टी TRS ने कार्यक्रम में मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव (KCR) को नहीं बुलाने का आरोप लगाया है। आरोप को खारिज करते हुए संयंत्र के CEO ने कहा कि उन्होंने व्यक्तिगत रूप से मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव को निमंत्रण दिया था। 

केसीआर को निमंत्रण देने के लिए केंद्रीय उर्वरक एवं रसायन मंत्री मनसुख मांडविया ने 2 नवंबर 2022 को एक पत्र भी भेजा था, जिसमें उन्हें कार्यक्रम के लिए ‘आमंत्रित’ किया गया है। वहीं, TRS का आरोप है कि भाजपा की नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव को उन्हें ‘आमंत्रित’ करने के बजाय उद्घाटन समारोह में ‘भाग लेने’ के लिए कहा।

उर्वरक के उत्पादन में देश को आत्मनिर्भर बनाने के क्रम में प्रधानमंत्री मोदी ने रामागुंडम के इस यूरिया संयंत्र परियोजना की आधारशिला 7 अगस्त 2016 को रखी थी। अब इसका काम पूरा हो गया है और प्रधानमंत्री इसका उद्घाटन कर इसे देश को समर्पित करने वाले हैं।

इस बीच राजनीति करते हुए राज्य की सत्ताधारी तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) ने आरोप लगाया है कि उद्धाटन कार्यक्रम के लिए प्रोटोकॉल का पालन नहीं किया जा रहा है और प्रदेश के मुख्यमंत्री को इसमें शामिल होने के लिए औपचारिक निमंत्रण नहीं भेजा गया। हालाँकि, अब उस संयंत्र के सर्वोच्च अधिकारी ने ही इस राजनीति की पोल खोल दी है।

बता दें कि साल 2014 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सत्ता में आने के बाद से बंद पड़े उर्वरक संयंत्रों के पुनरुद्धार के लिए विशेष प्रयास किए हैं, ताकि देश यूरिया उत्पादन में आत्म-निर्भर बन सके। पीएम मोदी ने किसानों से स्वदेशी उर्वरक अपनाने का आग्रह किया था। इसके साथ ही यूरिया में नीम कोटिंग का काम भी देश में शुरू कराया गया था।

रसायन और उर्वरक मंत्रालय के मुताबिक, मोदी सरकार ने स्वदेशी यूरिया उत्पादन को अधिकतम करने के लिए मौजूदा 25 गैस आधारित यूरिया इकाइयों के लिए नई यूरिया नीति-2015 की घोषणा की थी। इसके अलावा, यूरिया पर सरकार द्वारा दी जा रही सब्सिडी को भी युक्तिसंगत बनाने का प्रयास किया जा रहा है।   

इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी ने दिसंबर 2021 में गोरखपुर उर्वरक संयंत्र का उद्घाटन किया था। इसका शिलान्यास प्रधानमंत्री ने 22 जुलाई 2016 को किया था। गोरखपुर का यह संयंत्र 30 वर्षों से अधिक समय से बंद पड़ा था। इसे फइर से चालू करने में सरकार ने 8,600 करोड़ रुपए खर्च किए हैं।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया