पाकिस्तान के खिलाफ नारे… महिलाएँ-बच्चों पर तालिबानी गोलियाँ: जिस होटल में ISI चीफ, वहीं हो रहा था विरोध-प्रदर्शन

काबुल में पाकिस्तान विरोधी रैली में लगे 'आजादी', 'ISI को मौत' के नारे (photo: Reuters)

अफगानिस्तान के काबुल में मंगलवार (7 सितंबर) को अफगान नागरिकों ने रैली निकालकर पाकिस्तान के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन किया। विरोध प्रदर्शन को रोकने के लिए तालिबान ने गोलीबारी की, जिसमें कई महिलाएँ और बच्चे घायल हो गए हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अफगानिस्तान पर तालिबानी शासन के बाद से पाकिस्तान के खिलाफ वहाँ के स्थानीय लोगों में काफी आक्रोश है, क्योंकि पाकिस्तान खुलकर तालिबानियों का समर्थन करता रहा है।

बताया जा रहा है कि मंगलवार को सैकड़ों अफगान नागरिक पाकिस्तान विरोधी रैली में काबुल की सड़कों पर उतरे, जिनमें अधिकतर महिलाएँ थीं। उन्होंने रैली में इस्लामाबाद और आईएसआई के खिलाफ नारे लगाए, लेकिन जैसे ही विरोध तेज हुआ, तालिबान ने प्रदर्शनकारियों पर ताबड़तोड़ गोलियाँ बरसाना शुरू कर दिया। सोशल मीडिया पर इसके कई वीडियो सामने आए हैं। समाचार एजेंसी एएफपी के मुताबिक, तालिबान ने काबुल में पाकिस्तान विरोधी रैली को तितर-बितर करने के लिए हवा में गोलियाँ चलाईं।

https://twitter.com/AsvakaNews/status/1435142070335803395?ref_src=twsrc%5Etfw

एक स्थानीय मीडिया आउटलेट असवाका न्यूज (Asvaka News) ने बताया कि तालिबान ने काबुल में राष्ट्रपति भवन के पास जमा हुए प्रदर्शनकारियों पर गोलियाँ चलाईं। प्रदर्शनकारी काबुल सेरेना होटल की ओर मार्च कर रहे थे, जहाँ पिछले सप्ताह से पाकिस्तान आईएसआई निदेशक ठहरे हुए हैं।

https://twitter.com/BBCYaldaHakim/status/1435128803521597441?ref_src=twsrc%5Etfw

स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, ट्विटर पर साझा किए गए वीडियो में सैकड़ों अफगान पुरुषों और महिलाओं को पाकिस्तान के खिलाफ नारे लगाते हुए और काबुल की सड़कों पर तख्तियाँ लिए हुए देखा जा सकता है। इस दौरान लोगों में पाकिस्तान के खिलाफ काफी रोष देखने को मिला। बुर्का पहने महिलाएँ अपने बच्चों को हाथ में उठाए काबुल की सड़कों पर पाकिस्तान के खिलाफ नारे लगा रही थीं। अफगान प्रदर्शनकारियों ने रैली में ‘आज़ादी, आज़ादी’, ‘पाकिस्तान को मौत’, ‘आईएसआई को मौत’ देने जैसे नारे लगाए।

https://twitter.com/AamajN/status/1435123601502621703?ref_src=twsrc%5Etfw

ट्विटर पर साझा किए गए एक वीडियो में, एक अफगान महिला कहती है, “किसी को भी पंजशीर पर हमला करने का अधिकार नहीं है, न ही पाकिस्तान और न ही तालिबान।” तालिबान ने सोमवार (6 सितंबर) को दावा किया था कि उन्होंने पंजशीर घाटी पर कब्जा कर लिया है। वहीं, तालिबान पर खासा प्रभाव रखने वाली पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई के प्रमुख ने शनिवार को काबुल का दौरा किया। अफगानिस्तान में अमेरिकी युद्ध के 20 वर्षों के दौरान पाकिस्तान तालिबान का प्रबल समर्थक रहा है। तालिबान ने पाकिस्तान को अपना ‘दूसरा घर’ भी कहा है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया