उत्तराखंड में अमृतपाल सिंह को लेकर अलर्ट, सोशल मीडिया पर उसके समर्थकों पर पुलिस की नज़र: 458 साथियों की लिस्ट NIA को सौंपी गई

पंजाब पुलिस के भगोड़े खालिस्तान समर्थक अमृतपाल को ले कर उत्तराखंड में अलर्ट (फाइल फोटो)

पंजाब पुलिस द्वारा भगोड़ा घोषित किए गए खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह को ले कर उत्तराखंड पुलिस को भी अलर्ट किया गया है। आशंका जताई जा रही है कि वह उधमसिंह नगर जिले में मौजूद अपने कुछ समर्थकों के पास छिप सकता है। कुछ संवेदनशील जिलों को छोड़ कर कई स्थानों पर इंटरनेट बहाल कर दिया गया है। अमृतपाल द्वारा ISI के सहयोग से जार्जिया से हथियार चलाने की ट्रेनिंग लिए जाने का भी खुलासा हुआ है। वह सिखों का एक अलग देश भी बनाना चाह रहा था।

उत्तराखंड में हाई अलर्ट

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, उत्तराखंड पुलिस के DGP अशोक कुमार ने उधमसिंह नगर जिले के पुलिस अधिकारियों को सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं। जिले के पुलिस बल को जहाँ लगातार चेकिंग और संदिग्धों पर नजर रखने के आदेश मिले हैं तो वहीं प्रदेश की STF को सोशल मीडिया और इंटरनेट पर भी निगरानी करने को कहा गया है। पुलिस ने खालिस्तान या उसके समर्थकों के समर्थन में पोस्ट डालने वालों को भी सख्त चेतावनी दी है।

ऐसे कुछ लोगों को पहले भी पकड़ा जा चुका है जिनकी बाद में काउंसलिंग करवाई गई थी। अमृतपाल के 9 राज्यों में समर्थक बताए जा रहे जिन पर गृह मंत्रालय नजर रखे हुए हैं और संबंधित इलाकों के पुलिस बल को अलर्ट भेजा गया है।

जार्जिया से हथियारों की ट्रेनिंग

एक अन्य रिपोर्ट में बताया गया है कि अलग सिख देश की चाह रखने वाला अमृतपाल दरअसल पाकिस्तानी ख़ुफ़िया एजेंसी ISI के इशारे पर काम कर रहा था। उन्ही के इशारे पर अमृतपाल द्वारा आनदंपुर खालसा फोर्स (AKF) संगठन खड़ा करने की तैयारी थी। उसके लिए इसकी शुरुआती स्तर पर तैयारी के लिए दिल्ली से AKF मार्क लगी 33 बुलेटप्रूफ जैकेट खरीद ली गईं थीं। अमृतपाल के जॉर्जिया से हथियारों की ट्रेनिंग भी लेने की जानकारी सामने आई है।

नशे के तस्कर और ISI थी मददगार

अमृतपाल की पैसों से मदद नशे के बड़े-बड़े माफिया कर रहे थे जबकि उसे गोला-बारूद और हथियार ISI मुहैया करवा रही थी। जाँच एजेंसियों के रडार पर जालंधर, होशियारपुर और नवांशहर की 6 फाइनेंस कंपनियाँ भी हैं, जिनके द्वारा 20 अगस्त, 2022 से अब तक करोड़ों की ट्रांजेक्शन हुई है। इसके अलावा जालंधर में हवाला कारोबार से जुड़े 2 संदिग्धों की भी पहचान की गई है। पुलिस को इन सभी की तलाश है। इसके अलावा सोशल मीडिया पर भी अमृतपाल का समर्थन करने वाले देशी-विदेशी हैंडलों को भी खंगाला जा रहा है।

इसी कार्रवाई के चलते पिछले 3 दिनों में संगरूर के सांसद सिमरनजीत सिंह मान सहित 72 कथित सामाजिक कार्यकर्ताओं और मीडिया से जुड़े लोगों के ट्विटर अकाउंट्स सस्पेंड किए गए हैं। सिमरनजीत ने ऑपरेशन अमृतपाल पर सवाल खड़े किए थे।

NIA को सौंपी गई साथियों की लिस्ट

पंजाब पुलिस ने अमृतपाल के 458 साथियों की लिस्ट केंद्रीय जाँच एजेंसी (NIA) को A, B और C कैटेगरी बना कर सौंप दी है। कैटेगरी A में अमृतपाल के 142 बेहद करीबी जबकि B कैटेगरी में उसके आर्थिक मददगार और वारिस दे पंजाब संगठन से जुड़े लोग शामिल हैं। अमृतपाल के 4 बेहद खास साथियों को असम की डिब्रूगढ़ जेल में शिफ्ट कर दिया गया है जिसमें अमृतपाल का चाचा भी है। कुछ अन्य सहयोगियों को देश के अलग-अलग हिस्सों में बनी जेलों में भेजने की तैयारी है।

NIA की 8 टीमें पंजाब के अलग-अलग हिस्सों में पहुँच कर जाँच शुरू कर चुकी हैं। तरण तारण, फिरोजपुर, मोगा, संगरूर और अमृतसर के अजनाला छोड़ कर पंजाब के अन्य हिस्सों में इंटरनेट की बहाली कर दी गई है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया