गोमांस के कारण नहीं हुई JDU नेता खलील आलम की हत्या: बिहार पुलिस ने प्रोपेगेंडा की खोली पोल, गुमराह करने के लिए बनाया था वायरल वीडियो

मो. खलील हत्या मामले में पुलिस ने सांप्रदायिक एंगल से किया इनकार

बिहार (Bihar) के समस्तीपुर (Samastipur) जिले में 16 फरवरी को जनता दल युनाइटेड (JDU) कार्यकर्ता की निर्मम हत्या कर दी गई। पुलिस ने कल्याणपुर थाना क्षेत्र के वासुदेवपुर गाँव के बूढ़ी गंडक नदी के पास सुनसान जगह पर बने एक मकान के अंदर से जेडीयू कार्यकर्ता के शव का जला हुआ अवशेष बरामद किया। मृतक की पहचान 34 वर्षीय जेडीयू नेता मोहम्मद खलील आलम रिजवी के रूप में हुई। घटना मुसरीघरारी थाना क्षेत्र के हुडहिया गाँव की है।  

घटना के बाद एक सोशल मीडिया एक वीडियो काफी तेजी से वायरल हुआ। इसके बाद खलील की हत्या को मॉब लिंचिंग की घटना बताया गया। इसे सांप्रदायिक एंगल दिया जाने लगा। इसे गाय के नाम पर हत्या बताया जाने लगा। ऑस्ट्रेलियाई लेखक सीजे वर्लमैन ने भी इस वीडियो को साझा करते हुए लिखा कि एक मुस्लिम व्यक्ति अपनी जान की भीख माँगता रहा और ‘हिन्दू भीड़ ने उसकी हत्या के बाद उसे जला डाला’। हालाँकि, समस्तीपुर पुलिस अधीक्षक (SP) ने ऑपइंडिया से बात करते हुए मामले में सांप्रदायिक एंगल का खंडन किया।

उन्होंने कहा, “इसमें कोई सांप्रदायिक दृष्टिकोण नहीं है। गोमांस-गोहत्या को लेकर वायरल एक वीडियो आपको मिला होगा। इस वीडियो को वायरल करने के पीछे उनका मकसद यह था कि अगर पुलिस उन्हें पकड़ लेती है और कांड का खुलासा कर देती है तो हमलोग उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर देंगे। जिससे पुलिस का ध्यान उनकी तरफ से हट जाएगा और लोगों को भी उनकी सहानुभूति मिलेगी।”

SP के मुताबिक मोहम्मद खलील आलम की हत्या कांड को पाँच लोगों ने मिलकर अंजाम दिया था। जिसमें पुलिस ने 3 आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया है। अन्य की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है। उन्होंने बताया कि 17 फरवरी को मुसरीघरारी थाने में एक FIR दर्ज करवाई गई थी। इसमें कहा गया था कि खलील का अपहरण हो गया है। फिरौती के लिए फोन आ रहा है। 2,75,000 रुपए फिरौती माँगी गई है। इसके बाद पुलिस ने छापेमारी शुरू की। 18 फरवरी को पुलिस ने कुछ संदिग्धों को हिरासत में लेकर पूछताछ किया। जहाँ उन्होंने बताया कि खलील को मार कर शव को गाड़ दिया है। उन्होंने आगे बताया कि पुलिस ने इस वीडियो को बनाकर वायरल करने वाले युवक के खिलाफ भी FIR दर्ज कर गिरफ्तारी के लिए छापेमारी शुरू कर दी है। 

पुलिस की प्रेस रिलीज

इस संबंध में पुलिस ने प्रेस कॉन्फ्रेंस भी किया और प्रेस रिलीज भी जारी किया, ताकि लोगों तक सही सूचना पहुँच सके। प्रेस रिलीज के मुताबिक गिरफ्तार एक आरोपित विपुल झा ने कबूल किया था कि उसने चार अन्य लोगों के साथ मिलकर 16 फरवरी की रात में ही खलील की हत्या कर दी थी। मामले में SIT गठित की गई है।

कुछ मीडिया रिपोर्टों में बताया गया कि खलील ने विपुल व उसके दोस्त से नौकरी दिलाने के नाम पर पैसा लिया था। लेकिन जब नौकरी नहीं दिलाने पर जब विपुल व उसके दोस्त पैसे की माँग करने लगे तो वह टाल मटोल कर जाता था। जिसके बाद सभी ने पैसे उगाही के लिए उसका अपहरण कर मारपीट कर उसकी हत्या कर दी। 

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया