‘मैं हिन्दू हूँ और अपने धर्म में विश्वास रखता हूँ, वनवासियों के देवता भी हिन्दू संस्कृति का हिस्सा’: लिबरल गिरोह को चुभी ‘कांतारा’ के एक्टर-डायरेक्टर की बात

'कांतारा' के मुख्य अभिनेता और निर्देशक ऋषभ शेट्टी ने कहा - वनवासी संस्कृति हिन्दू धर्म का हिस्सा

निर्देशक ऋषभ शेट्टी (Rishbh Shetty) की हाल ही में रिलीज हुई कन्नड़ फिल्म ‘कांतारा’ (Kantara) को दर्शकों का भरपूर प्यार मिल रहा है। फिल्म बॉक्स ऑफिस पर कमाल का प्रदर्शन कर रही है। यह एक पीरियड एक्शन थ्रिलर है, जो कंबाला, भूत कोला, यक्षगान, दैवरधाने और जमींदार की पारंपरिक संस्कृति को जीवंत करती है। कन्नड़ अभिनेता से कार्यकर्ता बने चेतन कुमार ने दावा किया है कि ‘भूत कोला’ तटीय कर्नाटक के लोगों का प्रचलित आध्यात्मिक पूजा का एक अनुष्ठान है, जो हिंदू संस्कृति का हिस्सा नहीं है। उनके इस दावे से विवाद छिड़ गया है।

कुमार ने यह आपत्तिजनक टिप्पणी एक्टर और डायरेक्टर ऋषभ शेट्टी के उस बयान को लेकर की है, जिसमें उन्होंने कहा था कि ‘भूत कोला’ हिंदू संस्कृति का हिस्सा है। एक इंटरव्यू में शेट्टी से पूछा गया कि क्या फिल्म में पंजुर्ली को एक हिंदू देवता के रूप में दिखाया गया है?

शेट्टी ने कहा, “वे देवता, वे सभी हमारी परंपरा का हिस्सा हैं। निश्चित रूप से, यह हिंदू संस्कृति और हिंदू रीति-रिवाजों का हिस्सा है। क्योंकि मैं एक हिंदू हूँ और मेरी अपने धर्म में आस्था है और मैं इसका सम्मान करता हूँ। लेकिन मैं यह नहीं कहूँगा कि दूसरे गलत हैं। हमने जो कहा है वह हिंदू धर्म में मौजूद तथ्यों के आधार पर कहा है। ‘भूत कोला’ वराह रूपम अर्थात विष्णु भगवान हैं। ये लोग हिंदू धर्म को नीचा दिखाने की इतनी कोशिश क्यों करते हैं?”

तमिल चैनल सिनेमा विकटन को दिए गए इंटरव्यू का एक वीडियो क्लिप भी सामने आया है, जो कन्नड़ भाषा में है। चेतन अहिंसा के नाम से मशहूर चेतन कुमार ने शेट्टी के दावों को झूठा बताया है। चेतन कुमार ने ट्विटर पर लिखा, “मुझे खुशी है कि हमारी कन्नड़ फिल्म ‘कांतारा’ राष्ट्रीय स्तर पर बेहतरीन प्रदर्शन कर रही है। निर्देशक ऋषभ शेट्टी का दावा है कि ‘भूत कोला’ ‘हिंदू संस्कृति’ का हिस्सा है। यह गलत है। हमारी पंबाड़ा/नालिक/परवा की बहुजन परंपराएँ वैदिक-ब्राह्मणवादी हिंदू धर्म से पहले की हैं।”

जहाँ कुछ लोगों ने कुमार का समर्थन किया है, वहीं अन्य लोगों ने उन्हें फटकार लगाई है। मिर्ची मोहन नाम के यूजर ने कुमार के ट्वीट का जवाब देते हुए कहा, “यह ट्वीट ही अदालत की अवमानना है।” वहीं, एक अन्य नेटीजन ने दावा किया कि वह ‘भूत कोला’ देखकर बड़ा हुआ है और यह हिंदू संस्कृति का एक हिस्सा है।

कन्नड़ फिल्म ‘कांतारा (Kantara)’ 30 सितंबर को रिलीज हुई है। ‘कांतारा‘ लोक-संस्कृति को दिखाती है। फिल्म में पंजुर्ली को हिंदू भगवान विष्णु के अवतार वराह रूपम के रूप में दर्शाया गया है। समीक्षकों ने फिल्म के अंत में बजने वाले गीत ‘वराह रूपम’ का उल्लेख किया है। बता दें कि इस साल फरवरी में कर्नाटक हिजाब मामले में कन्नड़ अभिनेता और कार्यकर्ता चेतन कुमार को बेंगलुरु सिटी पुलिस ने गिरफ्तार किया था। चेतन पर आरोप था कि उन्होंने कर्नाटक में हिजाब मामले की सुनवाई कर रहे एक उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के खिलाफ आपत्तिजनक ट्वीट किया था।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया