‘काली हिंदुत्व का विनाश करती है, पितृसत्ता पर थूकती है’: लीना ने अब देवी को बता दिया ‘समलैंगिक’, हिन्दुओं को कहा भला-बुरा

लीना मणिमेकलई (फोटो साभार: हिन्दुस्तान टाइम्स)

हिन्दू घृणा से सनी फिल्म मेकर लीना मणिमेकलई (Leena Manimekalai) ने माँ काली, भगवान शिव और माता पार्वती की धूम्रपान करती तस्वीर पोस्ट करने के बाद एक बार फिर से विवादित बयान दिया है। वॉयस ऑफ अमेरिका को दिए एक इंटरव्यू में लीना ने माता काली को लेकर बात की। इसके साथ ही हिन्दुत्व के खिलाफ बयानबाजी की।

लीना मणिमेकलई ने बताया कि वो किस तरह से काली को देखती है। इंटरव्यू में लीना ने कहा, “मेरी काली क्वीर (समलैंगिकों के लिए प्रयोग में लाया जाने वाला शब्द) है। वह एक स्वतंत्र आत्मा है। वह पितृसत्ता पर थूकती है। वह हिंदुत्व को नष्ट करती है। वह पूंजीवाद को खत्म करती है। वह अपने सभी हजार हाथों से सभी को गले लगाती है।” लीना ने कहा, “जब मैं काली को धारण करती हूँ, तो मैं स्वयं काली हूँ।”

वहीं हिन्दू भावनाओं को आहत करने पर भारत में लीना के खिलाफ पैदा हुए आक्रोश पर फिल्म निर्माता ने खुद को पीड़ित बताने की कोशिश की। लीना ने कहा, “अगर गली में कोई व्यक्ति आप पर झपटता है, तो यह एक अपराध है। यदि कोई व्यक्ति सार्वजनिक स्थान पर आपसे छेड़छाड़ करता है, तो यह यौन उत्पीड़न है। अगर कोई व्यक्ति आपके चेहरे पर तेजाब फेंकता है, तो यह हत्या का प्रयास है। अगर कोई व्यक्ति आपके खिलाफ अभद्र भाषा का प्रयोग करता है तो यह गाली है। अगर कोई व्यक्ति आपके परिवार और दोस्तों और समर्थकों के पीछे जाता है और उन्हें धमकाता है, तो यह हिंसा है। अगर यह सब भीड़ द्वारा किया जाता है, तो आप इसे सिर्फ एक ‘आक्रोश’ कैसे कह सकते हैं?”

ट्विटर पर हिन्दुओं के आक्रोश का हवाला देते हुए लीना कहती है, “मैं 2,00,000 आईडी को रिपोर्ट कैसे कर सकती हूँ? मुझे कहाँ रिपोर्ट करनी चाहिए? कौन कार्रवाई करने जा रहा है? भारत में कोई कानून नहीं है। देश का संविधान मर चुका है।”

गौरतलब है कि बार-बार हिन्दू भावनाओं का अपमान करने के मामले में मध्य प्रदेश सरकार ने एक्शन लिया है। विवादित फिल्ममेकर के खिलाफ एमपी में ने केवल केस दर्ज किया गया है। बल्कि, प्रदेश के गृहमंत्री डॉ नरोत्तम मिश्रा फिल्म मेकर के खिलाफ लुक आउट सर्कुलर जारी करने के लिए केंद्र सरकार से माँग की है।

धार्मिक भावनाएँ आहत करने वाले सावधान रहें

राजस्थान के झुंझुनू में चल रहे राष्ट्रीय स्वयं सेवक (RSS) के तीन दिवसीय अखिल भारतीय प्रान्त प्रचारकों की बैठक में काली विवाद पर भी बात की गई। शनिवार को आरएसएस के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर ने कहा, “भारत में रचनात्मक स्वतंत्रता एक परंपरा रही है। लेकिन किसी की धार्मिक भावनाओं को आहत नहीं करना चाहिए। सभी को इससे सावधान रहना चाहिए।”

इसके साथ ही उन्होंने उदयपुर की घटना की भर्त्सना की और कहा कि इस हत्या के विरोध में मुस्लिम समुदायों को भी आगे आना चाहिए।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया