जुमे पर भारत भर में निकला ‘उम्माह का जिन्न’: हमास-फिलस्तीन के समर्थन में लगे ‘अल्लाहू अकबर’ के नारे, इजरायल के विरोध में सड़क पर कट्टरपंथी-वामपंथी

फिलिस्तीन और हमास के समर्थन में भारत में प्रदर्शन (साभार: आजतक)

फिलिस्तीन के आतंकी संगठन हमास पर इजरायल की कार्रवाई के विरोध में देश के कई शहरों में जुमे पर प्रदर्शन किए गए। शुक्रवार यानी जुमे (13 अक्टूबर 2023) को देखते हुए कई शहरों में पुलिस पहले से ही सतर्क थी। हालाँकि, जिस बात की आशंका जाहिर की जा रही थी, वह सही ही साबित हुई। देश के कई शहरों में वामपंथी और इस्लामी कट्टरपंथियों ने फिलिस्तीन और हमास के समर्थन में प्रदर्शन किया।

जुमे पर प्रदर्शन के दौरान इजरायल मुर्दाबाद के नारे लगाए गए और इस दौरान इजरायल के झंडे भी जलाए गए। जम्मू-कश्मीर के बडगाम में जुमे की नमाज के लिए बड़ी संख्या में जुटे। इसके बाद उन्होंने ‘नारा ए तकबीर, अल्लाह हू अकबर’ के नारे लगाए। इसके साथ ही इजरायल और अमेरिका के खिलाफ भी नारे लगाए गए। उनके हाथों में उर्दू और अंग्रेजी में लिखी तख्तियाँ भी थीं।

प्रदर्शन करने वाले लोगों के हाथों में तख्तियाँ थीं। सामने आईं तस्वीरों में दिख रहा है कि उन तख्तियों में से एक पर ईरान के इस्लामी नेता मोहम्मद अली खुमेनेई की तस्वीर बनी हुई थी। एक तख्ती पर अंग्रेजी में ‘या अल्लाह गाजा और फिलिस्तीन में हमारे भाई-बहनों की हिफाजत करना’ लिखा हुआ दिख रहा है।

के चंद्रशेखर राव की पार्टी BRS द्वारा शासित तेलंगाना में भी इजरायल के खिलाफ और फिलिस्तीन एवं हमास के समर्थन में प्रदर्शन किए गए। तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद में वामपंथी/कट्टरपंथियों ने तख्तियाँ लेकर प्रदर्शन किया। सामने आए वीडियो फुटेज में दिख रहा है कि एक तख्ती पर लिखा है, ‘गाजा कभी खत्म नहीं होगा’।

प्रदर्शनकारियों की हाथों में फिलिस्तीन के झंडे वाली भी तख्तियाँ थीं। कुछ तख्तियों पर उर्दू में कुछ लिखा हुआ था। इनके नीचे ‘नौजवान भारत सभा’ और ‘दिशा स्टूडेंट्स ऑरगेनाइजेशन’ का नाम लिखा हुआ था। इस दौरान ‘इजरायल का बॉयकॉट करो’ और ‘फिलिस्तीनी आवाम का संघर्ष जिंदाबाद’ के नारे लगाए गए।

ये सारे प्रदर्शनकारी डॉक्टर भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा के नीचे प्रदर्शन कर रहे थे। इस दौरान पुलिस एवं कुछ महिला पुलिस इन प्रदर्शनकारियों के हाथों में से तख्तियाँ भी लेने की कोशिश कीं, लेकिन प्रदर्शनकारियों ने इसे नहीं दी और अपने प्रदर्शन को जारी रखा।

वहीं, ममता बनर्जी की पार्टी TMC द्वारा शासित पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में भी फिलिस्तीन के समर्थन में प्रदर्शन किए गए। माइनॉरिटी यूथ फोरम के सदस्यों ने फिलिस्तीन के समर्थन में प्रदर्शन किया। इस दौरान प्रदर्शनकारी फिलिस्तीन की आजादी के बैनर लहराए। संगठन ने यह भी कहा कि भारत को इजरायल का समर्थन नहीं करना चाहिए। प्रधानमंत्री को भेजने के लिए उन्होंने राज्यपाल को ज्ञापन भी सौंपा।

उधर, एमके स्टालिन के राज्य तमिलनाडु में भी इजरायल के विरोध में प्रदर्शन किए गए। चेन्नई में तमिलनाडु मुस्लिम मुनेत्र कझगम ने फिलिस्तीन और हमास के समर्थन प्रदर्शन किया। इसके अलावा, स्टूडेंट इस्लामिक ऑर्गेनाइजेशन ऑफ इंडिया (SIO) ने भी जुमे के दौरान यानी आज 13 अक्टूबर को फिलिस्तीन के समर्थन में पूरे देश में प्रदर्शन करने की बात कही है। यह भी कहा जा रहा है कि प्रतिबंधित इस्लामी संघटन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) से संबद्ध सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया (SDPI) फिलिस्तीन की आजादी को लेकर देश भर में प्रदर्शन करने जा रहा है। 

बता दें कि हमास के आतंकी हमले के खिलाफ इजरायल की कार्रवाई के विरोध में पश्चिम एशिया के कई देशों में जुमे पर विरोध प्रदर्शन की आशंका जाहिर की गई थी। भारत में भी एजेंसियाँ सतर्क हैं। दिल्ली-एनसीआर, तेलंगाना, केरल, यूपी, महाराष्ट्र, राजस्थान, तमिलनाडु, जम्मू कश्मीर, कर्नाटक आदि राज्यों में सुरक्षा एजेंसियाँ अलर्ट पर हैं।

दिल्ली में सुरक्षा एजेंसियाँ विशेष रूप से चौकस हैं। ऐसे संगठनों पर विशेष रूप से नजर रखी जा रही है, जो लोगों को भड़का कानून व्यवस्था की स्थिति को खराब कर सकते हैं। इसको देखते हुए नमाज के बाद लोगों को एक स्थान पर एकत्रित नहीं होने के लिए कहा गया है।

इसके अलावा, दिल्ली स्थित इजरायल दूतावास और देश के यहूदी आबादी वाले इलाकों में सुरक्षा बढ़ा दी गई। दूतावास के अधिकारियों की भी सुरक्षा बढ़ा दी गई है। इसके साथ ही देश में माहौल को खराब करने की कोशिश करने वाले सोशल मीडिया हैंडलों पर भी सरकार की पैनी नजर है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया