अरुण जेटली ने लौटाया सरकारी बंगला और गाड़ी, सुरक्षा में भी की कटौती

अरुण जेटली ने वापस की बंगला और गाडी

पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली फिलहाल सार्वजनकि मंचों पर नहीं दिखते। स्वास्थ्य कारणों से दोबारा बनी मोदी सरकार में उन्होंने कोई भी ज़िम्मेदारी लेने से इनकार कर दिया। अब ख़बर आई है कि जेटली अपना सरकारी बंगला छोड़ने वाले हैं। नेताओं का मानना है कि 4 दशकों से राजनीति में सक्रिय जेटली अभी बस नेपथ्य में हैं लेकिन वे वापसी ज़रूर करेंगे। ‘रेडिफ’ के अनुसार, अपने प्राइवेट बंगले में शिफ्ट होने जा रहे अरुण जेटली ने अपने कर्मचारियों की संख्या में भी कटौती की है। उन्होंने अपनी सुरक्षा व्यवस्था कम कर दी है। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने अपनी सरकारी गाड़ियाँ भी वापस कर दी हैं।

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‘रेडिफ’ ने आगे बताया है कि अरुण जेटली ने अपने कर्मचारियों को पहले से लंबित बिजली बिल, पानी बिल और टेलीफोन बिल- सभी समय रहते क्लियर करने को कहा है। अरुण जेटली के यहाँ रोजाना 25 अख़बार आया करते थे, जिन्हें बंद करा दिया गया है। अरुण जेटली अब अपनी साउथ दिल्ली स्थित निवास में रहेंगे। उनके स्वास्थ्य को देखते हुए उनकी परिवार की भी यही इच्छा थी कि वो सरकारी बंगला छोड़ दें। रिपोर्ट में आगे लिखा है कि जब जेटली ठीक हो जाएँगे तो वह किसी छोटे सरकारी बंगले के लिए सरकार को निवेदन करेंगे।

मीडिया रिपोर्ट्स में यह भी कहा गया है कि जेटली आगे आने वाले समय में स्वस्थ होने के बाद सरकार में कोई अहम ज़िम्मेदारी भी संभाल सकते हैं। टाइम्स नाउ की एक ख़बर के अनुसार, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जब अरुण जेटली के घर उनसे मिलने गए थे, तब उन्होंने उनसे सरकार में कोई पद ग्रहण करने को कहा था लेकिन जेटली ने इनकार कर दिया। उन्हें तत्काल में बिना किसी विभाग के मंत्रीपद लेने का ऑफर दिया गया लेकिन जेटली ने कहा कि वह सिर्फ़ बंगला और गाड़ी के लिए मंत्रीपद ग्रहण करने वालों में से नहीं है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया