केरल में ‘जय श्री राम’ और छत्रपति शिवाजी का बैनर लगाने पर बीजेपी कार्यकर्ताओं पर केस दर्ज, लोगों ने कहा- सेकुलरिज्म ज़िंदाबाद!

भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा फहराया गया बैनर (साभार: keralakaumudi)

केरल की पुलिस ने गुरुवार (17 दिसंबर 2020) को तमाम भाजपा कार्यकर्ताओं पर एक विशालकाय बैनर फहराने के लिए मामला दर्ज कर लिया। यह बैनर पलक्कड़ म्युनिसिपल कॉरपोरेशन की इमारत पर फहराया गया था और इस बैनर पर ‘जय श्रीराम’ लिखा हुआ था। यह घटना केरल के स्थानीय निकाय चुनावों में हुई भारतीय जनता पार्टी की जीत के बाद हुई थी।  

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पलक्कड़ म्युनिसिपल सचिव बालाराम द्वारा की गई शिकायत के बाद पुलिस ने भाजपा कार्यकर्ताओं पर मामला दर्ज किया था। शिकायत के दौरान सचिव ने यह भी कहा कि इस घटना के ज़रिए सांप्रदायिक सौहार्द्र बिगाड़ने की कोशिश हुई थी। बुधवार (16 दिसंबर 2020) को तमाम भाजपा कार्यकर्ता म्युनिसिपल कॉरपोरेशन की इमारत के सामने केरल के स्थानीय निकाय चुनावों में मिली जीत का जश्न मना रहे थे। इस दौरान मौके पर भाजपा समर्थित नारे भी लगाए गए।

इस बीच वहाँ पर एक विशालकाय बैनर फहराया गया जिस पर मलयालम में ‘जय श्रीराम’ लिखा हुआ था और उसके ठीक ऊपर छत्रपति शिवाजी महाराज की तस्वीर बनी हुई थी। पीटीआई के मुताबिक़ मौके पर मौजूद भाजपा कार्यकर्ताओं ने इसके अलावा कुछ अन्य बैनर भी फहराए थे जिन पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की तस्वीर मौजूद थी। इन बैनर पर वंदे मातरम लिखा हुआ था।

जिला पुलिस प्रमुख सुजीतदास एस ने इस घटना के संबंध में पीटीआई को विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया, “स्पेशल ब्रांच डिप्टी सुप्रीटेन्डेन्ट कृष्णन को इस घटना के बारे में जल्द रिपोर्ट जमा करने का आदेश जारी किया जा चुका है।” इस घटना के संबंध में भारतीय दंड संहिता की धारा 153 ए (सांप्रदायिक उन्माद को बढ़ावा देना) के तहत मामला दर्ज किया जा चुका है। फ़िलहाल पुलिस ने भाजपा कार्यकर्ताओं पर मामला दर्ज करके जाँच शुरू कर दी है।

इस घटना को लेकर सोशल मीडिया पर भी लोगों की प्रतिक्रियाएँ सामने आ रही हैं। लोगों ने सेकुलरिज्म ज़िंदाबाद! कहकर, ऐसे मामलों पर तंज भी कसा।

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घटना को लेकर राजनीतिक प्रतिक्रियाएँ

कॉन्ग्रेस ने इस घटना को गैरक़ानूनी बताया है, इस पर कॉन्ग्रेस जिला समिति अध्यक्ष वीके श्रीकान्तन ने आरोप लगाते हुए कहा कि उन बैनर्स पर सांप्रदायिक विषयवस्तु मौजूद थी। उनके मुताबिक़, “जितने लोग इस घटना में शामिल हैं उन पर मामला दर्ज होना ही चाहिए। अगर पुलिस ने शिकायत नहीं मिलने की वजह से मामला दर्ज नहीं किया हो तो कॉन्ग्रेस ने पहले ही (गुरुवार) मामले की शिकायत कर दी है।”

इसी तरह सीपीआई (एम) नेता टी के नौशाद ने कहा कि यह पूरी तरह गैरक़ानूनी था। भाजपा ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के साथ मिल कर इस घटना को अंजाम दिया। हालाँकि भाजपा जिलाध्यक्ष ई कृष्णादास ने इस तरह के तमाम आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है। उनका कहना था कि पार्टी के नेतृत्व को इस घटना की कोई जानकारी नहीं थी, जानकारी मिलते ही हमने बैनर हटवा लिए थे। वहाँ पर पार्टी के लगभग 1500 समर्थक मौजूद थे अगर कुछ इमारत पर चढ़ गए तो हमें इसकी जानकारी नहीं थीं। पुलिस को और सक्रिय रहना चाहिए था, लापरवाही उनकी तरफ से भी हुई थी।

केरल स्थानीय निकाय चुनावों के परिणाम

सीपीआईएम की अगुवाई वाली एलडीएफ़ ने ग्राम पंचायत में 7263 वार्ड, ब्लॉक पंचायत में 1267 वार्ड, जिला पंचायत में 212 वार्ड, नगरपालिका में 1167 और कॉरपोरेशन में 207 वार्ड पर जीत हासिल की थी। केरल के ग्राम पंचायत में 15962, ब्लॉक पंचायत में 2080, जिला पंचायत में 331, म्युनिसिपलिटी में 3078 और कॉरपोरेशन में 414 वार्ड मौजूद हैं।

भाजपा ने भी अपने मतदाताओं का आभार व्यक्त किया था। भाजपा के जनरल सेक्रेटी बी एल संतोष ने ट्वीट में लिखा, “आपने हमें ग्राम पंचायत में 1182 वार्ड, ब्लॉक पंचायत में 37 वार्ड, जिला पंचायत में 2 वार्ड, म्युनिसिपलिटी में 320 वार्ड, कॉरपोरेशन में 59 वार्ड पर जीत दिलाई. इसके लिए आप सभी का बहुत बहुत आभार।”

       

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया