‘फ्रांस का विरोध नहीं किया तो हिंदुस्तान में भी ईंट से ईंट बजा देंगे’: कॉन्ग्रेस नेता आरिफ मसूद के बयान पर अरेस्ट वारंट जारी

आरिफ मसूद के ख़िलाफ़ वारंट जारी

मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल के इकबाल मैदान में सैंकड़ों की भीड़ इकट्ठा करके भड़काऊ बयानबाजी करने वाले कॉन्ग्रेस नेता आरिफ मसूद के खिलाफ विशेष अदालत ने गिरफ्तारी वारंट जारी कर दिया है।

इस मामले में मसूद से पहले अब तक 6 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है। वहीं मसूद के खिलाफ तलैया पुलिस द्वारा धारा 82/83 के संबंध में आवेदन पेश किया गया था। इसी आवेदन पर सुनवाई करते हुए जस्टिस प्रवेंद्र कुमार सिंह ने वारंट जारी किया।

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इससे पूर्व अदालत ने उनके ऊपर लगे आरोपों की गंभीरता को देखते हुए उनको 8 नवंबर को अग्रिम जमानत देने से इंकार किया था। इस पूरे मामले में 7 लोग आरोपित बनाए गए थे। इन में से तीन को कुछ दिन पहले गिरफ्तार किया गया था जबकि तीन को सोमवार (नवंबर 16, 2020) दोपहर में गिरफ्तार किया गया।

क्या है मामला?

कुछ दिन पहले फ्रांस के राष्ट्रपति मैक्रों की ओर से पैगंबर मोहम्मद पर की गई टिप्पणी के खिलाफ भोपाल में हजारों मुस्लिमों की भीड़ ने सड़क पर उतर कर विरोध प्रदर्शन किया था। दिलचस्प बात यह है कि इस भीड़ नेतृत्व का करने वाले कोई और नहीं बल्कि देश की सबसे ‘सेकुलर पार्टी’ कॉन्ग्रेस के विधायक आरिफ मसूद थे।

इस विरोध प्रदर्शन के दौरान मसूद ने कहा था कि अगर उनका बस चलता, तो वे राष्ट्रपति मैक्रों का चेहरा कुचल देते। उन्होंने आगे कहा था, “हमारे हाथ बँधे हुए हैं क्योंकि हम कानून के पालन करने वाले नागरिक हैं और हमें हमारे अल्लाह के नबी द्वारा शांति की शिक्षा दी गई है।”

उन्होंने यह भी कहा था कि फ्रांस के राष्ट्रपति के कार्य को भारत में बैठी हिन्दूवादी सरकार सहमति दे रही हैं। मध्य प्रदेश में बैठी हिन्दूवादी सरकार मुस्लिम वर्ग के अपमान को शह दे रही है। हिन्दुस्तान की केंद्र व राज्य सरकार कान खोलकर सुन ले, यदि फ्रांस के इस कृत्य का विरोध नहीं किया गया, तो हिंदुस्तान में भी ईंट से ईंट बजा देंगे।

इन्हीं देश विरोधी बयानों के बाद तलैया थाना प्रभारी डीपी सिंह ने बताया था कि मसूद और उनके समर्थकों के खिलाफ तलैया थाने में दो अलग-अलग मामले दर्ज किए गए हैं। इनमें से एक में मसूद की रिहाई हो चुकी है जबकि दूसरे मामले में धारा 153 के तहत केस दर्ज है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया