कॉन्ग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और केरल के वायनाड से सांसद राहुल गाँधी के कार्यालय में स्टूडेंट फेडरेशन ऑफ इंडिया (SFI) के सदस्यों ने शुक्रवार (24 जून 2022) को जबरन घुसकर तोड़फोड़ की। स्टूडेंट फेडरेशन ऑफ इंडिया (SFI) सत्तारूढ़ मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (Communist Party of India) की छात्र इकाई है। कॉन्ग्रेस ने आरोप लगाया है कि एसएफआई के सदस्यों ने वायनाड में राहुल गाँधी के कार्यालय में घुसकर तोड़फोड़ की और वहाँ मौजूद लोगों पर हमला किया।
कॉन्ग्रेस द्वारा ट्विटर पर शेयर की गई वीडियो में SFI के सदस्यों को पार्टी के कार्यालय में नारे लगाते हुए सुना जा सकता है। गुस्साए लोगों ने राहुल गाँधी की दीवार पर लगी फोटो को भी नीचे गिरा दिया। उन्होंने कार्यालय में तोड़फोड़ भी की। कॉन्ग्रेस ने अपने ट्वीट में लिखा, “SFI के गुंडों ने कॉन्ग्रेस सांसद राहुल गाँधी के कार्यालय में तोड़फोड़ की। माकपा के लोग हिंसा कर रहे हैं। पुलिस इनके कार्यकर्ताओं के खिलाफ झूठे मामले दर्ज करती है। वह सीपीआईएम के खिलाफ कड़ी कार्रवाई नहीं करती है। केरल में कानून-व्यवस्था पूरी तरह से चरमरा गई है।”
वहीं, पुलिस ने बताया कि राहुल गाँधी के वायनाड कार्यालय में करीब 80 से 100 SFI कार्यकर्ता घुसे थे। उनमें से अब तक आठ लोगों को हिरासत में लिया गया है। राहुल के कार्यालय के बाहर भारी संख्या में पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं। इस घटना के पीछे राहुल गाँधी की चुप्पी बताई जा रही है। छात्र संगठन ने यह आरोप लगाया है कि राहुल गाँधी ने केरल के पहाड़ी इलाकों में जंगलों के आसपास ‘बफर जोन’ बनाए जाने के मुद्दे में हस्तक्षेप नहीं किया। बताया जा रहा है कि राहुल के कार्यालय के बाहर तैनात पुलिसकर्मियों ने एसएफआई के प्रदर्शन को रोकने की पुरजोर कोशिश की, लेकिन वह कार्यालय में घुस आए।
उन्होंने खिड़की के शीशे और शटर तोड़ दिए और दीवारों पर चढ़कर खिड़की के रास्ते कार्यालय में घुस गए। बता दें कि एक दिन पहले, राहुल गाँधी ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर कहा था कि इस फैसले से उनके निर्वाचन क्षेत्र वायनाड में विरोध हो रहा है। ऐसा कहा जा रहा है कि SFI उनकी प्रतिक्रिया से नाराज़ हो गया इसलिए उसने सांसद के कार्यालय में तोड़फोड़ और प्रदर्शन करने का फैसला किया।