‘कॉन्ग्रेस को मना-मनाकर थक गए हैं, लेकिन वो AAP से गठबंधन के लिए तैयार नहीं’: अरविन्द केजरीवाल

कॉन्ग्रेस से गठबंधन के केजरीवाल के सारे प्रयास विफल हो चुके हैं

एक समय कॉन्ग्रेस के ख़िलाफ़ जनता को रोजाना अपने साथ धरने पर बिठाकर अपने राजनीतिक करियर की बुनियाद रखने वाले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल आजकल कॉन्ग्रेस पार्टी के साथ गठबंधन करने के लिए दिन-रात प्रयास कर रहे हैं। मीडिया में रोजाना आ रहे उनके बयानों से स्पष्ट है कि भाजपा को लोकसभा चुनावों में हराने के लिए अरविन्द केजरीवाल किसी भी हद तक जाने के लिए तैयार हैं।

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लोकसभा चुनाव में दिल्ली में बीजेपी को टक्कर देने के लिए आम आदमी पार्टी और कॉन्ग्रेस के गठबंधन की चर्चा पर अब खुद दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने विराम लगा दिया है। बुधवार (फरवरी 20, 2019) को केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली की सातों सीटों पर बीजेपी को हराने के लिए आम आदमी पार्टी के नेताओं ने कॉन्ग्रेस  को गठबंधन के लिए मनाने की खूब कोशिशें कीं लेकिन कॉन्ग्रेस नहीं मानी। अरविन्द केजरीवाल ने कहा कि बीजेपी के हर कैंडिडेट के ख़िलाफ़ एक प्रत्याशी होना चाहिए और वोटों का बँटवारा नहीं होना चाहिए।

जामा मस्जिद के पास आयोजित रैली को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा, “हम गठबंधन के लिए कॉन्ग्रेस को मना-मनाकर थक गए हैं, लेकिन वह नहीं समझ रही। अगर गठबंधन होता है तो बीजेपी सातों लोकसभा सीटों पर हार सकती है।” अपने भाषण में दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल ने यह भी कहा कि जिनके अंदर भी देश के लिए अच्छी भावना है, उन्हें चाहिए कि वह 2019 चुनाव में भाजपा को हराए।

केजरीवाल की यह रैली चाँदनी चौक इलाके के अल्पसंख्यक बहुल इलाके में आयोजित की गई थी। उन्होंने कहा, “मैं नहीं जानता कि कॉन्ग्रेस के दिमाग में क्या चल रहा है। कॉन्ग्रेस उत्तर प्रदेश में सपा और बसपा को कमजोर करने गई है और दिल्ली में बीजेपी के ख़िलाफ़ लड़ रही AAP को कमजोर करने का काम कर रही है।” ज्ञात हो कि फरवरी की शुरुआत में केजरीवाल ने मीडिया को बताया था कि कॉन्ग्रेस ने लोकसभा चुनाव के लिए AAP के साथ गठबंधन की संभावना को लगभग खत्म कर दिया है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया