विदेशी आक्रांताओं द्वारा रखे गए नामों को बदला जाए: वकील अश्विनी उपाध्याय ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल की PIL, कहा- नाम पता करने के लिए बने रीनेमिंग कमीशन

वकील अश्विनी उपाध्याय (फोटो साभार पत्रिका)

वकील अश्विनी उपाध्याय ने सुप्रीम कोर्ट में पीआईएल दाखिल कर विदेशी आक्रमणकारियों के नामों पर रखे गए शहरों व स्थानों के नाम बदलने की माँग की है। उपाध्याय ने कोर्ट से एक रीनेमिंग कमीशन बनाने की माँग की है, जिसका काम बदले गए स्थानों के वास्तविक नाम का पता लगाना होगा। उन्होंने अपनी याचिका के साथ 1,000 नामों की एक सूची भी कोर्ट सौंपी है। याचिका में उन्होंने न्यायालयों द्वारा पूर्व में दिए गए निर्णयों का भी उल्लेख किया है।

सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दिए जाने की जानकारी देते हुए अश्विनी उपाध्याय ने अपने ट्विटर हैंडल से एक वीडियो पोस्ट किया है। वीडियो में वे इस पीआईएल के विषय की जानकारी दे रहे हैं। उपाध्याय ने जानकारी दी कि पीआईएल में उन्होंने रीनेमिंग कमीशन बनाने की माँग की है। कमीशन आक्रांताओं द्वारा बदले गए स्थानों के नामों की पहचान कर उसके वास्तविक नाम का पता लगाएगा। इसके बाद सरकारें उसे बदलने का काम करेंगी।

वकील उपाध्याय ने याचिका के साथ 1000 स्थानों के नाम कोर्ट के सामने रखे, जिन्हें आक्रान्ताओं ने बदल दिया था। याचिका के अनुसार, बिहार के बेगूसराय का नाम अजातशत्रु नगर था, जो बर्बर बेगू के नाम पर बेगूसरया बन गया। मुजफ्फरपुर को विदेहपुर के नाम से जाना जाता था। हरिपुर का नाम हाजीपुर किया गया। द्वार बंगा को क्रूर दरभंग खान के कारण दरभंगा कहा जाने लगा।

नालंदा को जलाने वाले बख्तियार के नाम पर पटना के पास बख्तियारपुर शहर है। इसके अलावा उन्होंने याचिका में बिहार शरीफ और जमालपुर जैसे बिहार के शहरों का उल्लेख किया है। याचिका में बिहार के शहरों के अलावा देश भर के अन्य शहरों का भी नाम दिया गया है। उनमें अहमदाबाद, होशंगाबाद, दौलताबाद, औरंगाबाद, उस्मानाबाद, गाजियाबाद, फिरोजाबाद, फरीदाबाद, गाजीपुर, जौनपुर, आजमगढ़ जैसे स्थान शामिल हैं।

बता दें कि पिछले दिनों ही राष्ट्रपति भवन स्थित मुगल गार्डन का नाम बदलकर अमृत उद्यान कर दिया गया था। हालाँकि, दिल्ली में अब भी कई जगहों के नाम मुगल आक्रान्ताओं के नामों पर ही हैं। दिल्ली में ही बाबर रोड, अकबर रोड, जहाँगीर रोड, औरंगजेब रोड, तुगलक रोड जैसे सड़कों के नाम हैं। याचिका में शहरों के साथ-साथ सड़कों और ऐतिहासिक स्थानों के नाम बदलने के लिए भी कदम उठाने की माँग की गई है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया