कैमरे पर बॉडीगार्ड के साथ सेक्स करता दिखा तालिबान का मुल्ला अखुंद, समलैंगिक रिश्ते पर आम लोगों को पत्थर मार-मार कर दी जाती है मौत

बॉडी गार्ड से संबंध बनाता पकड़ा गया तालिबानी नेता (फोटो साभार: AamajNews)

अफगानिस्तान में तालिबानी शासन में समलैंगिक लोगों को पत्थर मार-मारकर मौत देने का कानून है। लेकिन तालिबान के एक नेता का समलैंगिक सेक्स का वीडियो सामने आने के बाद भी उस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है। यह कथित वीडियो मुल्ला अहमद अखुंद का बताया जा रहा है। वह दा अफगानिस्तान ब्रेशना शेरकोट (DABS) का प्रमुख है।

कथित वीडियो में मुल्ला के साथ हमबिस्तर दिख रहा युवक उसका बॉडीगार्ड बताया जा रहा है। वीडियो वायरल होने के बाद भी तालिबान सरकार ने अखुंद को किसी प्रकार की सजा नहीं दी है। साथ ही वह अब भी अपने पद पर बना हुआ है।

वायरल वीडियो में मुल्ला अहमद अखुंद बिस्तर पर खड़े होकर कपड़े उतारता नजर आ रहा है। इसके बाद वह लेट जाता है। वहीं उसका बॉडीगार्ड भी कपड़े उतारकर अखुंद के साथ लेटा दिखाई दे रहा है। आमज न्यूज ने कहा है कि अखुंद जिस बॉडीगार्ड के साथ ‘हमबिस्तर’ नजर आ रहा है, वह 21 साल का है। साथ ही वह तालिबानी सरकार के उप रक्षा मंत्री मुल्ला फाजिल की कंपनी में भी देखा गया था। वह ब्रेशना शेरकट में तालिबान नेता के साथ काम करता था।

इस वीडियो के सामने आने के बाद से तालिबानी नेताओं के संबंधों और चरित्र को लेकर सवाल उठने शुरू हो गए हैं। लोगों का कहना है कि महिलाओं पर प्रतिबंध लगाने वाला तालिबान खुद मौज कर रहा है। नेटिजन्स की भी प्रतिक्रिया सामने आ रही है। जितेन गजरिया नामक यूजर ने लिखा, “यह विडंबना है कि इस्लाम में समलैंगिकता के लिए मौत की सजा देना वाले तालिबान का टॉप कमांडर अपने बॉडीगार्ड के साथ संबंध बनाता पकड़ा गया।”

एक अन्य यूजर ने लिखा, “मुझे नहीं पता कि ऐसी खबर सामने क्यों आ रही है। तालिबान के अधिकांश लोग अपनी किशोरावस्था से ही समलैंगिक संबंध रखते हैं। अफगान समाज में लड़कों के साथ दुर्व्यवहार आम बात है। ‘बच्चा बाजी’ एक आम बात है। यह एक सड़ा हुआ समाज है। मदरसों में ऐसे लड़के होते हैं जिनके साथ 9 साल से कम उम्र के बच्चों के साथ दुर्व्यवहार किया जाता है। इन्हें बिना दाढ़ी वाले लड़के पसंद हैं।”

एक यूजर ने लिखा, “तालिबानी एक-दूसरे के साथ सो रहे हैं। यह अफगान परंपरा है। तालिबान एक कट्टरपंथी समलैंगिक आतंकवादी संगठन है। अब यह समझा जा सकता है कि महिलाओं और अन्य जातीय समूहों के खिलाफ इनमें नफरत कहाँ से आती है।”

एक ओर जहाँ तालिबानी सरकार ने अपने नेता मुल्ला अहमद अखुंद को किसी प्रकार की सजा नहीं दी है, वहीं जनवरी 2023 में समलैंगिकता के आरोप में कोड़े मारने और हाथ काटने की बात सामने आई थी। ऐसे में तालिबानी हुकूमत पर दोहरा रवैया अपनाने का भी आरोप लग रहा है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया