चीन में कोरोना का कहर, शंघाई के 2 करोड़ से अधिक लोग घरों में कैद, ड्रोन और रोबोटिक कुते से लोगों पर रखी जा रही नजर

शंघाई की सड़कों पर दिखा रोबोटिक कुत्ता (वीडियो का स्क्रीनशॉट)

कोरोना के मामले में दुनियाभर में बदनाम रहा चीन इसकी मार से त्रस्त है। हालात ये हैं कि शंघाई शहर में कोरोना के कारण अनिश्चितकालीन लॉकडाउन है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, चीन के सबसे बड़े शहर में केवल गुरुवार को 20,000 नए संक्रमित पाए गए हैं। बीबीसी की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि लोगों के पास खाने की कमी होने लगी है।

शंघाई में बुधवार (6 अप्रैल 2022) को प्रशासन की तरफ से अनिवार्य टेस्टिंग शुरू की गई। लॉकडाउन के 20 दिन पूरे हो चुके हैं, लेकिन इनमें ढील दिए जाने के कोई संकेत नहीं दिख रहे हैं। लोगों की आवाज को कुचलने के लिए कुख्यात चीन लोगों पर नजर रखने के लिए टेक्निकल टॉय का इस्तेमाल कर रहा है। सोशल मीडिया पर ऐसी कई सारी तस्वीरें वायरल हो रही हैं। इनमें देखा जा सकता है कि घोषणाएँ करने के लिए चीन ने रोबोटिक कुत्तों को सड़कों पर उतार दिया है। इसके जरिए लोगों को घरों में रहने के लिए कहा जा रहा है। इसके अलावा ड्रोन से भी निगरानी की जा रही है।

द इकोनॉमिस्ट के लिए काम करने वाली सीनियर चीनी संवाददाता एलिस सु ने ट्विटर पर एक वीडियो शेयर किया। इसमें ड्रोन को घोषणाएँ करते देखा जा सकता है। ड्रोन से लोगों को अपने घर की खिड़की दरवाजे बंद रखने को कहा जा रहा है। सु ने लिखा, “शंघाई के लोग अपनी बालकनियों में गाने गाकर सप्लाई की कमी का विरोध कर रहे हैं। एक ड्रोन दिखता है, जो कहता है कृपया w covid प्रतिबंधों का पालन करें। स्वतंत्रता के लिए अपनी आत्मा की इच्छा को नियंत्रित करें। खिड़की मत खोलो या गाओ मत।”

सु ने चाइनीज सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म वीबो से जुड़े एक अकाउंट के सोर्स को भी जोड़ा। यूजर ने वीडियो के टेक्स्ट के साथ पोस्ट किया, जिसका अनुवाद है, “बालकनी पर ग्रुप में गाओ मत। सोंगजियांग जिउटिंग होमलैंड के निवासियों ने कई बार गाया। सीधे ड्रोन आया और कहा कि कृपया आत्मा की स्वतंत्रता की इच्छा को नियंत्रित करें।” (Google से इसका अनुवाद किया गया)

वीबो का स्क्रीनशॉट

इसी तरह का एक और वीडियो द वर्ल्ड हेल्थ नेटवर्क के सह-संस्थापक एरिक फ्रिगी-डिंग ने भी शेयर किया। इसमें देखा जा सकता है कि एक रोबोटिक कुत्ता, जिसकी पीठ पर मेगाफोन लगा हुआ है। ये रोबोटिक कुत्ता शंघाई की सड़कों पर घूम रहा है। एरिक के मुताबिक, मेगाफोन के जरिए स्वास्थ्य संबंधी घोषणाएँ की जा रही हैं।

रोबोटिक कुत्ते का एक और वीडियो फ्रीलांस जर्नलिस्ट जेम्स जैक्सन ने शेयर किया था। इसमें उन्होंने लिखा, “रोबोटिक कुत्ता घोषणा करता है कि किसी को भी घर से बाहर निकलने की इजाजत नहीं है। ड्रोन इधर-उधर उड़ते रहते हैं और जैसे ही वो आपको देखता है तो वो आपके पास आता है और तुरंत अंदर जाने के लिए कहता है।”

शंघाई की आधिकारिक जनसंख्या 26 मिलियन (करीब 2 करोड़ 60 लाख) है। कोरोना के कारण ये शहर पूरी तरह से थम गया है। शहर की बड़ी आबादी खाने के लिए जूझ रही है। एरिक ने 30 मार्च को एक वीडियो शेयर किया था, जिसमें लोग किराने के सामान के लिए लड़ते देखे। इस पर चीन का कहना है कि उसने शुरू में कोरोना को कंट्रोल कर लिया था, लेकिन इसके नए संस्करण के कारण वो जूझ रहा है।

एक अप्रैल के एक अन्य वीडियो में देखा जा सकता है कि डिलीवरी ट्रकों का संचालन करने वाले ट्रक ड्राइवरों को कथित तौर पर पुलिस के टेप से उसे सील कर दिया। एड्रिक ने लिखा, “खाने, सोने या यहाँ तक ​​कि बाथरूम जाने तक के लिए ट्रक से बाहर नहीं निकलना।” ऐसा डिलीवरी को समय पर सुनिश्चित करने के लिए किया गया है।

ई जस्टिन नाम के ट्विटर यूजर ने एक वीडियो शेयर किया, जिसमें एक छोटे से कुत्ते का मालिक उसे रस्सी के सहारे खिड़की से रस्सी के सहारे बिल्डिंस से नीचे उतारता है औऱ फिर लंबे रस्सी के पट्टे से ही उसे वापस खींचा।

शंघाई लॉकडाउन के प्रभाव

चीन का शंघाई शहर एक आर्थिक केंद्र है। यहाँ टेस्ला समेत कई सारी वैश्विक कंपनियाँ हैं, जो चुनौतियों का सामना कर रही हैं। शंघाई में टेस्ला की गिगाफैक्ट्री प्लांट है। ये सबसे बड़ी प्रोडक्शन वाली संयत्र है, जो कि एक सप्ताह से बंद है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया