पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (POK) के एक नेता ने जम्मू कश्मीर में बिगड़े हालात के लिए सीधे तौर पर पाकिस्तान को जिम्मेदार ठहराया है। उनका कहना है कि कश्मीर में जो भी हालात बिगड़े हैं, वो पाकिस्तान की वजह से हुआ है। दरअसल, जम्मू कश्मीर लिब्रेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) के नेता सरदार सागीर ने स्थानीय पत्रकार तनवीर अहमद से बात कहते हुए दावा किया कि पाकिस्तान ही घाटी में अशांति फैलाने के लिए आतंकवाद का साथ दे रहा है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान अपने एजेंडे के लिए दशकों से घाटी में आतंकवाद को साधन के तौर पर इस्तेमाल कर रहा है।
सरदार सागीर ने कश्मीर में आतंकी घटनाओं के लिए पाकिस्तान को सीधे तौर पर जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि पाक की धरती पर सक्रिय लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे आतंकी संगठनों ने कश्मीर में हिंसा फैलाई। सागीर ने सनसनीखेज खुलासा करते हुए बताया कि पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर में घुसपैठ के लिए पीओके को आतंकियों के लॉन्चपैड के तौर पर इस्तेमाल कर रहा है।
उन्होंने भारतीय खुफिया एजेंसियों के उस इनपुट पर भी मुहर लगाई, जिसमें कहा गया है कि पीओके स्थित लॉन्चिंग पैड में जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी बड़ी संख्या में घुसपैठ की ताक में बैठे हैं। सगीर ने कहा कि पीओके में बड़ी संख्या में आतंकियों को ट्रेनिंग दी जा रही है। यही नहीं बड़ी संख्या में आतंकी भारत में घुसपैठ की ताक में बैठे हैं। ये आतंकी लगातार घुसपैठ की कोशिशें कर रहे हैं, मारे जा रहे हैं और मारे जाते रहेंगे।
सगीर ने बताया कि पाकिस्तान एक एजेंडे के तहत जम्मू-कश्मीर में अस्थिरता पैदा करने के लिए आतंकवादियों का इस्तेमाल कर रहा है। यही नहीं सन 1947 में भी पाकिस्तान ने कश्मीर को अस्थिर करने की बड़ी कोशिश की थी। सन 1980 से पाकिस्तान ने लगातार जम्मू-कश्मीर को अशांत करने की कोशिशें की हैं। साल 1989 में हिज्बुल मुजाहिद्दीन और जमात उल मुजाहिद्दीन जैसे आतंकी संगठनों को खड़ा करने के पीछे पाकिस्तान की यही मंशा थी।
साथ ही उन्होंने बताया कि हाफिज सईद द्वारा लश्कर-ए-तैयबा और जमात उद दावा का भी गठन कश्मीर में अशांति फैलाने के मकसद से किया गया था। इनका गठन पाकिस्तानी खुफिया एजेंसियों द्वारा की गई थी, इन्होंने कश्मीर में हिंसा फैलाई। अब विश्व समुदाय पाकिस्तान के द्वारा की जाने वाली आतंकी गतिविधियों को देख रहा है। उन्होंने कहा कि गुलाम कश्मीर (POK) में हालात बहुत खराब हैं। वहाँ के लोग पाकिस्तानी उत्पीड़न और आतंकवाद से जूझ रहे हैं। 9/11 के आतंकी हमले के बाद आतंकवाद के मसले पर पाकिस्तान बेनकाब हो गया और गुलाम कश्मीर के लोगों का शांतिपूर्ण संघर्ष सामने आया।