J&K में 24 घंटे के भीतर 4 आतंकी हमले: मेजर सहित 3 जवान वीरगति को प्राप्त

अनंतनाग में वीरगति को प्राप्त मेजर केतन शर्मा (बाएँ) और पुलवामा में IED ब्लास्ट के बाद क्षतिग्रस्त वाहन (दाएँ)

जम्मू कश्मीर में 24 घंटे के भीतर 4 आतंकी हमलों ने घाटी को दहला दिया है। यहाँ हम आपको चारों घटनाओं के बारे में एक साथ सारी जानकारी देने जा रहे हैं। सबसे ताज़ा घटना आज मंगलवार (जून 18, 2019) की है। आज अनंतनाग में सुरक्षा बलों एवं आतंकियों के बीच गोलीबारी हुई। ये मुठभेड़ बिजबिहारा शहर के नजदीक स्थित मरहमा संगम गाँव में हुई। पुलिस को सूचना मिली थी कि इस क्षेत्र में कुछ आतंकी फँसे हुए हैं। इसके बाद भारतीय सेना की 33 राष्ट्रीय राइफल्स, जम्मू कश्मीर पुलिस और सीआरपीएफ ने संयुक्त ऑपरेशन चलाया। आतंकियों ने इस दौरान तलाशी अभियान चला रहे दस्ते पर ग्रेनेड फेंका। यह मुठभेड़ अभी भी जारी है।

अब थोड़ा पीछे चलते हैं और इन चारों घटनाओं में से सबसे पहली घटना की बात करते हैं। ये घटना भी अनंतनाग में हुई, जब कॉम्बिंग ऑपरेशन चला रहे सुरक्षा बलों के एक दस्ते पर आतंकियों द्वारा हमला किया गया। इस हमले में आर्मी मेजर केतन शर्मा वीरगति को प्राप्त हो गए। एक अन्य जवान भी गंभीर रूप से घायल हैं, जिनका इलाज चल रहा है। यह हमला अछबल जिले के बदूरा क्षेत्र में किया गया। आतंकियों और सुरक्षा बलों के बीच हुई इस मुठभेड़ में एक आतंकी को भी मार गिराया गया। यहाँ भी आतंकियों के छिपे होने की सूचना पर ही सुरक्षा बल के जवान पहुँचे थे।

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अब चलते हैं दूसरी घटना की ओर। इस हमले में 44 राष्ट्रीय राइफल्स की मल्टी-विकल पैट्रॉल को निशाना बनाया गया। आतंकियों ने जवानों की गाड़ी के नजदीक एक अन्य गाड़ी में बम फिट कर के पुलवामा जैसी घटना दोहराने की कोशिश की। बुलेट प्रूफ वाहन में होने के बावजूद इस हमले में जवान घायल हुए। सभी घायल जवानों को अस्पताल में भर्ती कराया गया। ताजा सूचना के अनुसार, 2 जवान वीरगति को प्राप्त हो गए हैं। इस हमले में कुल 9 जवान घायल हुए थे। आपको बता दें कि यह घटना उस स्थल से 27 किलोमीटर की ही दूरी पर हुई है, जहाँ पुलवामा हमले के दौरान 40 जवान वीरगति को प्राप्त हो गए थे। रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ने इसे एक ‘फेल्ड एटेम्पट’ करार दिया है।

तीसरी घटना के दौरान सीआरपीएफ को निशाना बनाया गया। इसमें 180 सीआरपीएफ बटालियन कैम्प के मुख्यालय पर बम फेंके गए। यह हमला त्राल में हुआ। हालाँकि, ग्रेनेड मुख्यालय के बाहर ही फट गया और जवान घायल होने से बच गए।

दूसरी घटना में वीरगति को प्राप्त जवान केतन शर्मा मेरठ के रहने वाले हैं। अपने माता-पिता के इकलौते पुत्र केतन के परिवार में कोहराम मचा है। वहाँ सेना के अधिकारियों व नेताओं का ताँता लगा हुआ है। 5 वर्ष पूर्व ही उनकी शादी दिल्ली निवासी इरा से हुई थी। वो अपने पीछे 3 वर्ष की एक बेटी को छोड़ गए हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बलिदानी जवान के परिजनों को 25 लाख रुपए व परिवार के एक आश्रित को नौकरी देने की घोषणा की है। मेरठ में एक सड़क का नामकरण भी केतन शर्मा की याद में किया जाएगा। शर्मा 28 दिनों की छुट्टी बिताने के बाद 26 मई को ही वापस लौटे थे। उनकी माँ को काफ़ी देर तक केतन के घायल होने की बात ही बताई गई थी। आतंकियों की गोली सीधे केतन के सिर में लगी थी।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया