"मैं अगर तुम्हें कस्तूरबा को पेनिसिलिन देने की आज्ञा दे देता, तो भी वो नहीं बचती। लेकिन ये मेरी आस्था की धज्जियाँ उड़ाने जैसा होता। वो मेरी गोद में मरी, इससे बेहतर कुछ हो सकता था?"
विभिन्न बार एसोसिएशन ने भीमराव अंबेडकर तथा एसोसिएशन के वरिष्ठ वकीलों के चित्रों के अनावरण के लिए कोर्ट से अनुमति माँगी थी। इस माँग को लेकर मद्रास हाई कोर्ट की फुल बेंच ने बैठक की।