ज्ञानवापी मामले में कूदा AIMPLB, मुस्लिम पक्ष को देगा ‘हर तरह की’ कानूनी सहायता: किताबें-पैम्पलेट छपवा कर बनाएगा नैरेटिव

ज्ञानवापी मामले में मुस्लिम पक्ष की मदद करेगा AIMPLB

वाराणसी के ज्ञानवापी विवादित ढाँचे का मुद्दा अभी सुप्रीम कोर्ट में चल रहा है। ज्ञानवापी ढाँचे (Gyanvapi Mosque) के वजूखाना में शिवलिंग मिलने के बाद से जहाँ हिंदू अपने पक्ष में आवाज बुलंद कर रहे हैं, वहीं मुस्लिम पक्ष भी इस मुद्दे पर कानूनी लड़ाई के तरीके तलाश रहा है। हिंदुओं ने ज्ञानवापी के नीचे की दीवार को तोड़ने की माँग ​की है। उधर मुस्लिमों के सबसे बड़े संगठन ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने ऐलान किया है कि वह इस मामले में मुस्लिम पक्ष को हर तरह से कानूनी सहायता देगा।

उधर समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, अधिवक्ता विष्णु जैन ने कहा, “कोर्ट ने एडवाइजर अजय मिश्रा को हटाने का आदेश दिया है। इसके अलावा, हमने अदालत में एक अर्जी दी है कि वुजू खाने (ज्ञानवापी विवादित ढाँचे की) के नीचे की दीवार को गिरा दिया जाए और हमें वहाँ जाने दिया जाए। उसी पर आज कोर्ट फैसला सुनाएगी।”

आपको बता दें कि AIMPLB ने मंगलवार (16 मई, 2022) शाम को इस मुद्दे पर अपनी कार्यकारिणी की वर्चुअल बैठक भी बुलाई थी। बैठक में फैसला लिया गया कि यह मामला अभी अदालतों में है, इसलिए बोर्ड की लीगल कमेटी केस को लड़ने में मुस्लिम पक्ष की हर संभव मदद करेगी। इसके साथ ही मीडिया पर सटिक और पूर्ण जानकारी नहीं देने का आरोप लगाते हुए AIMPLB ने लोगों को मुस्लिम पक्ष के बिंदुओं से जागरूक करवाने के लिए पैम्पलेट और किताबें छपवाने का भी ऐलान किया, ताकि वह सभी तथ्यों के साथ लोगों को पूरे विवाद के बारे में बता सकें।

AIMPLB क्या है

ज्ञानवापी विवादित ढाँचे के मुद्दे पर मुस्लिमों की मदद का ऐलान करने वाला ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) अक्सर अपने बयानों के कारण विवादों में रहता है। इसने देश में समान नागरिक संहिता (Uniform Civil Code) कानून पर भी आपत्ति जताते हुए इसका विरोध किया था। All India Muslim Persona Law Board खुद को मुस्लिमों का रहनुमा बताता है। इससे पहले भी यह स्कूलों में सूर्य नमस्कार, राम जन्मभूमि, CAA-NRC, तीन तलाक कानून का खात्मा, हिजाब बैन, लाउडस्पीकर बैन सहित तमाम मामलों को मुस्लिमों से जोड़कर इसका विरोध करता रहा है। यहाँ तक आतंकी गतिविधियों में शामिल मुस्लिमों के बचाव में भी कई बार यह संगठन सामने आ चुका है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया