भागलपुर धमाके में मोहम्मद आजाद की भूमिका संदिग्ध: शोल्जर और शहजाद SIT की हिरासत में, SHO सस्पेंड

घटनास्थल का मुआयना करते पुलिस अधिकारी (फोटो साभार: Prabhat Khabar)

बिहार के भागलपुर (Bhagalpur Blast, Bihar) जिले के तातारपुर थाना क्षेत्र के काजवलीचक मोहल्ले में गुरुवार (3 मार्च 2022) की देर रात एक घर में विस्फोट ने 14 जानें ले लीं। चार घर पूरी तरह जमींदोज हो गए, जबकि कुछ अन्य घरों को भी नुकसान पहुँचा है। पुलिस के मुताबिक, जिस घर में धमाका हुआ वह मोहम्मद आजाद का था। उसने लीलावती देवी को किराए पर दिया था। 

मोहम्मद आजाद की भूमिक संदिग्ध

बताया जा रहा है कि विस्फोट की घटना के बाद मोहम्मद आजाद मौके पर पहुँचा था, लेकिन उसके बाद वह कहीं दिखाई नहीं दिया। मोहम्मद आजाद फरार हो गया है। इसकी वजह से घटना में आजाद की भूमिका संदिग्ध बताई जा रही है और कहा जा रहा है कि आजाद का लीलावती देवी के यहाँ आना-जाना था। ऐसे में घर में बारूद रखने और अवैध तरीके से पटाखा बनाने की बात आजाद को जरूर पता होगी। वह ग्रील वेल्डिंग की आड़ में इस अवैध कारोबार में लिप्त था।

इधर SIT ने आजाद के घर पर छापेमारी कर उसके दो भाइयों मोहम्मद शोल्जर और शहजाद को हिरासत में ले लिया है। इसके साथ ही पुलिस आजाद का पश्चिम बंगाल और विस्फोटक पदार्थ की तस्करी करने वालों से कनेक्शन को भी खँगाल रही है।

थानाध्यक्ष को किया गया निलंबित

इलाके में अवैध तरीके से बारूद का भंडारण और पटाखे बनाने की घटना को देखते हुए जिले के एसएसपी राम बाबू ने तातारपुर के थानाध्यक्ष एसके सुधांशु कुमार को सस्पेंड कर दिया गया है। एफएसएल एक्सपर्ट ने घटनास्थल पर आकर जाँच की और सैंपल भी ले गए। डीआईजी ने बताया कि पुलिस हर स्तर पर मामले की जाँच कर रही है। 

जाँच में पटाखा बनाने वाले बारूद से विस्फोट की बात सामने आई है, लेकिन बारूद फटा किस वजह से इसकी पड़ताल अभी जारी है। सैंपल की जाँच के बाद ही साफ हो सकेगा कि विस्फोटक क्या था और इसकी कितनी मात्रा कितनी थी। वैसे मलबा हटाने के क्रम में सात-आठ किलो बारूद बरामद भी हुआ है। बम निरोधक दस्ते को जाँच के दौरान कहीं पर कोई बम या उसके अवशेष नहीं मिले हैं।

मामले में तातारपुर थाना के दारोगा पूर्णेंदु कुमार के बयान पर केस दर्ज किया गया है। इसमें मोहम्मद आजाद, लीलावती देवी और उसके पूरे परिवार के साथ-साथ महेंद्र मंडल और उसके परिवार को आरोपित किया गया है। केस विस्फोटक अधिनियम, हत्या और अवैध तरीके से पटाखा निर्माण को लेकर किया गया है। विस्फोट में लीलावती देवी और महेंद्र की मौत हो चुकी है।

घर में पहले भी हो चुकी है ऐसी घटना

उल्लेखनीय है कि इससे पहले मीडिया रिपोर्टों में बताया गया कि धमाका नवीन आतिशबाज के घर हुआ था। घर में इससे पहले 2002, 2008 और 2018 में भी ऐसी ही घटनाएँ हो चुकी हैं। जिस मकान में धमाका हुआ, वह कोतवाली से सिर्फ 100 मीटर की दूरी पर था। विस्फोट की भयावहता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता कि घटनास्थल से चार किलोमीटर की परिधि में आने वाले मकान में मौजूद लोगों ने तेज झटके महसूस किए।

गौरतलब है कि इससे पहले बिहार के खगड़िया जिले में ब्लास्ट हुआ था। उससे पहले  जून 2021 में बिहार के बाँका जिले में टाउन थाना क्षेत्र के नवटोलिया में नूरी मस्जिद इस्लामपुर परिसर के आगे एक मदरसे में बम विस्फोट हुआ था। इस ब्लास्ट में मदरसे के मौलवी मोहम्मद मोमिद सहित कई लोग घायल हुए थे। वहीं 10 जून 2021 में बिहार के ही अररिया जिले के बैरगाछी थाना क्षेत्र के त भुवनेश्वरी रामपुर गाँव में झोले में रखा एक बम फट गया था। इस धमाके में मोहम्मद अफरोज नाम का शख्स बुरी तरह घायल हो गया। बाद में बताया गया कि अफरोज झोले में बम ले जा रहा था। लेकिन सरिया से टकराकर वह उसके हाथ में ही फट गया। दो जिंदा बम भी बरामद किया गया था।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया