बिहार की मास्टर बहाली में नया पेंच: अब बीएड वाले नहीं बन पाएँगे प्राइमरी टीचर, 3.90 लाख लोगों का रिजल्ट भी फँसा

सीएम नीतीश और डिप्टी सीएम तेजस्वी (फाइल फोटो)

बिहार में शिक्षकों की भर्ती के मामले में राज्य सरकार ने एक नया फैसला लिया है। अब राज्य के B.Ed. डिग्रीधारी प्राइमरी टीचर नहीं बन पाएँगे। मंगलवार (12 सितंबर 2023) को BPSC और शिक्षा विभाग के बीच हुई बैठक के बाद शिक्षक की परीक्षा देेने वाले 3.90 लाख बी.एड. पास उम्मीदवारों के रिजल्ट को रोक दिया गया है। सिर्फ D.El.Ed. डिग्रीधारी उम्मीदवारों की रिजल्ट जारी की जाएगी।

बताते चलें कि बिहार में 1,70,461 शिक्षकों की नियुक्ति की प्रक्रिया चल रही है। बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) ने इसके लिए भर्ती निकाली थी। इसके बाद 24 से 26 अगस्त 2023 तक इसकी परीक्षा का आयोजन किया गया था। अब आवेदक रिजल्ट का इंतजार कर रहे थे। पहली कक्षा से पाँचवीं कक्षा तक के प्राइमरी टीचरों की भर्ती में 3.90 लाख बी.एड डिग्रीधारियों ने आवेदन किया था।

बिहार सरकार के निर्णय पीछे सुप्रीम कोर्ट का हाल ही में आया एक फैसला है। सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में राजस्थान हाईकोर्ट के फैसले को बरकरार रखते हुए प्राइमरी टीचर (PRT) के लिए बीएड (B.Ed) की योग्यता को समाप्त कर दिया था। इस फैसले के बाद बीएड डिग्रीधारी छात्र प्राइमरी शिक्षक के लिए योग्य नहीं होंगे।

देश के शीर्ष न्यायालय के आदेश के अनुसार, केवल बीटीसी (BTC- Basic Training Certificate) या D.El.Ed. (Diploma in Elementary Education) डिग्री वाले अभ्यर्थी ही कक्षा पाँचवीं तक के स्कूलों में पढ़ाने के लिए पात्र माने जाएँगे। इस फैसले के आधार पर बिहार शिक्षक भर्ती में 14 सितंबर 2023 को सिर्फ D.El.Ed. आवेदकों का रिजल्ट जारी होगा।

बिहार लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष अतुल प्रसाद ने पिछले दिनों कहा था कि कक्षा 9 से 12 तक के कई विषयों की रिक्तियों की तुलना में आवेदकों की संख्या कम है। आयोग निर्धारित रिक्ति के 75 प्रतिशत तक रिजल्ट देने की तैयारी कर रहा है। इसका रिजल्ट 25 सितंबर 2023 तक जारी होने की उम्मीद है।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया