कानपुर में नमाज के बाद हिंसा को लेकर योगी सरकार सख्‍त, अब तक 18 दंगाई गिरफ्तार: लगेगा गैंगस्टर एक्ट, संपत्ति होगी कुर्क या चलेगा बुलडोजर

कानपुर हिंसा के बाद CM योगी के तेवर सख्त (फोटो साभार: PTI)

उत्तर प्रदेश के कानपुर (Kanpur, Uttar Pradesh) में जुमे की नमाज के बाद शुक्रवार (3 जून 2022) को हुई हिंसा के मामले में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) बेहद सख्त रूख अपनाया है। इस मामले में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए 18 आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया है। प्रदेश के ADG (लॉ एंड ऑर्डर) प्रशांत कुमार ने कहा कि एक पक्ष द्वारा दुकानें बंद कराने का प्रयास किया जा रहा था, जिसका दूसरे पक्ष ने विरोध किया। इसी बात को लेकर पत्थरबाजी हुई।

दरअसल, कट्टरपंथी मुस्लिम दिल्ली बीजेपी की प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा पैगंबर मुहम्मद को लेकर दिए गए कथित बयान से नाराज हैं। इसी लेकर उन्होंने शुक्रवार को बंद का आह्वान किया था। जब दूसरे पक्ष ने बंद से मना कर दिया तो मुस्लिम उपद्रवी पत्थरबाजी करने लगे। यह बवाल परेड, नई सड़क और यतीमखाना समेत कई इलाकों में फैल गया। पुलिस ने जब दंगाइयों को रोकने की कोशिश की तो उस पर भी जमकर पत्थर बरसाए गए। इस हमले में 6 हिंदू घायल हो गए हैं।

ADG प्रशांत कुमार ने कहा कि इस घटना को शासन ने बहुत गंभीरता से लिया है। उपद्रवियों पर गैंगस्टर ऐक्ट के तहत कार्रवाई की जाएगी। इसके अलावा, या तो उनकी संपत्ति जब्त की जाएगी या फिर उन्हें ध्वस्त किया जाएगा। उन्होंने बताया कि पुलिस की 12 कंपनी और एक प्लाटून PAC कानपुर के विभिन्न इलाकों में तैनात की गई है। इसके साथ ही कुछ वरिष्ठ अधिकारियों को भी तैनात किया गया है।

एडीजी प्रशांत कुमार ने बताया कि उपद्रवियों की पहचान की जा रही है। इसके लिए वीडियो फुटेज खंगाले जा रहे हैं। वीडियो फुटेज के आधार पर अब तक 18 लोगों की पहचान करके गिरफ्तारी की गई है। वहीं, घटना में घायल हुए लोगों का इलाज कराया जा रहा है। घायल लोगों की पहचान मुकेश बाथम, अमर बाथम, संजय शुक्ला, उत्तम गौड़, मंजीत यादव और राहुल त्रिवेदी के रूप में हुई है।

घटना परेड चौराहे की है। हालात बिगड़ते देख भारी संख्या में पुलिस बलों को तैनात किया गया, हालाँकि, पत्थरबाजी जारी रही। इसके बाद उन्मादी भीड़ को नियंत्रित करने के लिए लाठियाँ भाँजी गई और टियर गैस के गोले दागे। बताया जाता है कि नूपुर शर्मा के बयान को लेकर जौहर फैंस एसोसिएशन और दूसरी मुस्लिम तंजीमों ने गुरुवार को ही बाजार बंद कराने का ऐलान कर दिया था। इसके बाद आज जुमे की नमाज के बाद उपद्रवियों ने सड़क पर आकर उत्पात मचाना शुरू कर दिया।

सुबह से ही चमनगंज, मेस्टन रोड, बाबू पुरवा, दलेल पुरवा, कर्नलगंज, हीरामन पुरवा समेत कई इलाकों में पूर्ण या आंशिक बंदी थी। पुलिस ने मुस्लिमों को किसी भी तरह के प्रदर्शन की इजाजत नहीं दी थी, लेकिन जुमे की नमाज के दौरान विभिन्न मस्जिदों से एक संदेश दिया गया कि वो पैगंबर मुहम्मद पर किसी भी तरह की टिप्पणी को बर्दाश्त नहीं करेंगे। इसके बाद नमाजी सड़कों पर उतर आए।

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) और खुद राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद (Ramnath Kovind) आज कानपुर के दौरे पर थे। इनके साथ ही सीएम योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) भी थे। अपने इस दौरे के दौरान पीएम मोदी राष्ट्रपति कोविंद के गाँव परौंख भी गए।

क्या है मामला

बीते दिनों फैक्ट चेक के नाम पर प्रोपेगेंडा फैलाने वाले ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर ने बीजेपी नेता का एक ट्विस्टेड स्पीच ट्वीट कर ट्रोल्स को उकसाया था। जिसके बाद इस्लामिक कट्टरपंथियों ने नूपुर शर्मा को गला काटने की भी धमकी दी थी। हालाँकि, ये मामला यहीं नहीं थमा, इस्लामिक कट्टरपंथियों ने बीजेपी प्रवक्ता की हत्या करने पर ईनाम रखने लगे। AIMIM (इंकलाब) ने भाजपा नेता नूपुर शर्मा की हत्या पर ₹1 Cr इनाम घोषित कर दिया।

नूपुर शर्मा पर तमाम तरह की हिंसक वारदातों में आरोपित रज़ा एकेडमी ने पहली FIR मुंबई में दर्ज करवाई थी। इसके बाद एक मदरसे के मौलवी ने दूसरा केस मुंबई के ही मुम्ब्रा थाने में दर्ज करवाया था। नूपुर पर तीसरी FIR हैदराबाद के साइबर क्राइम थाने में 31 मई 2022 दर्ज हुई थी। इसके बाद पुणे के कोंढवा थाने में भी उनके खिलाफ एक एफआईआर दर्ज कराई गई। इस्लामिक कट्टरपंथियों को भड़काने का काम मोहम्मद जुबैर ने किया था।

ऑपइंडिया स्टाफ़: कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया