रामलला की हुई प्राण प्रतिष्ठा तो वामपंथी-कट्टरपंथी गिरोह के उखड़े प्राण पखेरू: कहने लगे – ये सेक्युलरिज्म की मौत: इस्लामी गिरोह कह रहा – फिर खड़ा होगा बाबरी
राना अय्यूब को क्रूर बहुसंख्यकवाद दिख रहा, अरफ़ा खानम शेरवानी इसे श्राप बता रहीं और आइशी घोष के लिए ये सांप्रदायिक राष्ट्र का पतन है।