‘जब तक एक भी हिन्दू व्यक्ति जीवित है… तब तक रहेगी माता सीता की कथा’ – क्यों स्वामी विवेकानंद बनना चाहते थे गिलहरी?
“अपने महिमावान अतीत को मत भूलो। स्मरण करो... हम कौन हैं? किन महान पूर्वजों का रक्त हमारी नसों में प्रवाहित हो रहा है?” - स्वामी विवेकानंद