अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (AMU) आए दिन गलत वजहों से सुर्खियों में रहता है। अब यहॉं के दो छात्रों पर देश विरोधी बातें करने को लेकर एफआईआर दर्ज कराई गई है। इनके नाम शाकिब रसूल भट्ट और शेख अरफात हैं।
दोनों ने ईद के मौके पर सोशल मीडिया में भारत विरोधी और पाकिस्तान के समर्थन में टिप्पणियॉं की। इसको लेकर हिंदूवादी नेता दीपक शर्मा ने अतरौली थाना में तहरीर देते हुए दोनों के खिलाफ कार्रवाई की माँग की है।
दीपक शर्मा ने अपनी शिकायत में कहा है कि AMU के छात्र शेख अरफ़ात और रसूल भट्ट ने फेसबुक पेज पर पाकिस्तान को अपना मुल्क बताते हुए पोस्ट शेयर की है। पाकिस्तान की ईद मनाने की इच्छा व्यक्त करते हुए भारतीय मुस्लिमों का ध्रुवीकरण करने का प्रयास किया गया। साथ ही कश्मीर का पाकिस्तान का हिस्सा बनने की ख्वाहिश जताई।
उन्होंने आगे कहा कि ऐसे लोगों के अंदर पनप रहे पाकिस्तान प्रेम से करोड़ों भारतीयों की भावनाएँ आहत होती है। ऐसे लोगों को जल्द से जल्द सलाखों के पीछे डाल देना चाहिए, जिससे अन्य कोई देश विरोधी बात न कर सके।
हिंदूवादी नेता दीपक शर्मा आजाद के एफआईआर पर पुलिस ने दोनों छात्रों के खिलाफ धारा 153-A,153- B, सूचना प्रौद्योगिकी संशोधन अधिनियम 2008 और 66-D के तहत मुकदमा दर्ज कर मामले की जाँच शुरू कर दी है।
इससे पहले भी एएमयू में पढ़ रहे जम्मू-कश्मीर के छात्र बसीम हिलाल ने आतंकियों द्वारा पुलवामा हमले में सेना के 42 जवान शहीद और दर्जनों के घायल होने पर, अपने ट्विटर पर “How’s the Jaish” लिखा था। देश के खिलाफ बेहद आपत्तिजनक ट्वीट करने के आरोप में उस पर मामला दर्ज भी हुआ था।
पिछले दिनों एएमयू में हिंदू छात्रों को निशाना बनाए जाने की घटना भी सामने आई थी। शोध छात्र निखिल माहेश्वरी ने ऑपइंडिया को बताया था कि उन्होंने सोशल मीडिया पर 4 मई को एक व्यंगात्मक पोस्ट की थी। इसके बाद से ही कट्टरपंथी छात्रों ने उनको और उनके परिवार को निशाने पर ले लिया। उनके स्क्रीनशॉट लेकर सोशल मीडिया पर गाली-गलौच की और उनको तथा उनके परिवार को जान से मारने की धमकी दी।
वहीं नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ गोरखपुर के डॉ. कफील द्वारा भी 12 दिसंबर को अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) में भड़काऊ भाषण दिया गया था। इसके बाद उनके खिलाफ अलीगढ़ के सिविल लाइन्स पुलिस स्टेशन में आईपीसी की धारा 153-A के तहत केस दर्ज कर गिरफ्तारी भी किया गया था।