Friday, May 10, 2024
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समलैंगिक साथी को झाँसा देकर ब्रेस्ट सर्जरी करवाई, लड़की जैसा चेहरा सजवाया फिर शादी से कर दिया इनकार: प्रेमिका बने लड़के ने गुस्से में कार पर पेट्रोल डाल आग लगा दी

दीप्तेश तलवानिया इंदौर का रहने वाला है। वहीं, उसका दोस्त रोहन यादव भोपाल का रहने वाला है। वैभव शुक्ला कानपुर का रहने वाला है। उसका पिता का निरवाना नाम से एक रेस्टोरेंट चलाता है। परिवार में पिता, माँ और भाई हैं। दीप का कहना है कि वैभव शुक्ला के परिवार वालों को उसके संबंधों के बारे में जानकारी थी।

उत्तर प्रदेश के कानपुर में एक अजीब-ओ-गरीब मामला सामने आया है। यहाँ प्यार में धोखा खाए एक समलैंगिक साथी अपने प्रेमी की कार पर पेट्रोल डालकर जला डाला। प्रेमी की पहचान वैभव शुक्ला के रूप में हुई है। उसके कहने पर उसके समलैंगिक साथी दीप्तेश उर्फ दीप तनवानिया ने अपनी ब्रेस्ट सर्जरी करा ली और फिर दीपा बन गई। इसके बाद वैभव शुक्ला ने उससे शादी करने से इनकार कर दिया। उससे वह भड़क उठा।

रिपोर्ट के मुताबिक, दरअसल, इंदौर निवासी दीप्तेश तलवानिया की 2021 में श्यामनगर निवासी वैभव शुक्ला से इंस्टाग्राम पर दोस्ती हुई थी। दोनों की दोस्ती धीमे-धीमे प्यार में बदल गई। कुछ रिपोर्ट में कहा जा रहा है कि दीप थर्ड जेंडर था। खैर जो भी हो, कभी दीप कानपुर आकर होटल में वैभव शुक्ला से मिलता तो कभी वैभव इंदौर जाता और दीप के साथ बिताता। लगभग दो वर्षों तक यह रिश्ता चला।

बात शादी तक पहुँची तो वैभव शुक्ला ने यह कहकर मना कर दिया कि वह लड़की होती तो उससे शादी कर लेता। इसके बाद दीप ने अपनी प्लास्टिक सर्जरी और ब्रेस्ट सर्जरी करवा ली। इसे करवाने में उसे लगभग 70 लाख रुपए खर्च करने पड़े। हालाँकि, वह लिंग नहीं बदलवा पाया, क्योंकि उसके पास पैसे कम पड़ गए थे। इस बीच वैभव शुक्ला ने दीप से शादी करने से मना कर दिया। 

इसके बाद दीप ने वैभव को सबक सिखाने का निर्णय लिया। इसके बाद दीप अपने दोस्त के साथ कानपुर पहुँचा और वैभव के घर के नीचे खड़ी कार पर पेट्रोल डालकर आग लगा दी। वारदात करने के बाद दोनों आरोपित बस से इंदौर के लिए निकल चुके थे। पुलिस ने बारा टोल प्लाजा पर ओवरटेक कर बस रुकवाई और दोनों को गिरफ्तार कर लिया।

दीप्तेश तलवानिया इंदौर का रहने वाला है। वहीं, उसका दोस्त रोहन यादव भोपाल का रहने वाला है। वैभव शुक्ला कानपुर का रहने वाला है। उसका पिता का निरवाना नाम से एक रेस्टोरेंट चलाता है। परिवार में पिता, माँ और भाई हैं। दीप का कहना है कि वैभव शुक्ला के परिवार वालों को उसके संबंधों के बारे में जानकारी थी।

डीसीपी पूर्वी श्रवण कुमार सिंह ने बताया कि सीसीटीवी फुटेज के अलावा त्रिनेत्र योजना के तहत घटनास्थल के आसपास लगाए गए कैमरों में खोजबीन की गई तो स्कूटी का नंबर मिला। स्कूटी के नंबर के जरिए रेपिडो नाम की फर्म के ऑफिस पहुँचे। वहाँ से दीप का आईडी और मोबाइल नंबर मिला। उसे सर्विलांस पर लिया तो बस की लोकेशन मिली। पुलिस ने बाराजोड़ टोल प्लाजा के पास घेराबंदी कर दोनों आरोपियों को गिरफ्तार किया।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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