करतारपुर कॉरिडोर को लेकर लगातार अपना रुख बदलने वाले पाकिस्तान ने एक बार फिर से पलटी मारी है। पाकिस्तानी सेना ने अपने प्रधानमंत्री इमरान खान का दूसरा वादा भी रद्द कर दिया है। पाकिस्तानी सेना ने साफ कर दिया कि कल यानी 9 नवंबर को करतारपुर कॉरिडोर आने वाले भारतीय श्रद्धालुओं से 20 डॉलर वसूला जाएगा।
Sources: Pakistan to charge US $20 from every pilgrim on 9th November. (Pakistan had earlier announced that no fee will be charged on #KartarpurCorridor opening day)
— ANI (@ANI) November 8, 2019
बता दें कि इससे पहले इमरान खान ने ऐलान किया था कि करतारपुर कॉरिडोर के उद्घाटन और गुरु नानक देव की 550वीं जयंती पर आने वाले श्रद्धालुओं से एंट्री फीस नहीं ली जाएगी, इसके बावजूद उन्हीं की सेना प्रमुख बाजवा ने पीएम की बात को खारिज कर दिया।
इससे पहले 7 नवंबर को पाकिस्तान ने पासपोर्ट जरूरी न होने की बात से भी पलटी खाई थी। पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान ने ट्वीट कर कहा था कि करतारपुर साहिब दर्शन के लिए आने वाले भारतीय श्रद्धालुओं को पासपोर्ट की जरूरत नहीं होगी, लेकिन पाकिस्तानी सेना की तरफ से अपने ही पीएम की बात को खारिज कर दिया गया। पाकिस्तानी सेना ने कहा, “हम सुरक्षा कारणों से पासपोर्ट में छूट नहीं दे सकते हैं।” पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता मेजर जनरल आसिफ गफूर ने कहा था, “हम अपनी संप्रभुता और सुरक्षा के साथ समझौता नहीं कर सकते।”
For Sikhs coming for pilgrimage to Kartarpur from India, I have waived off 2 requirements: i) they wont need a passport – just a valid ID; ii) they no longer have to register 10 days in advance. Also, no fee will be charged on day of inauguration & on Guruji’s 550th birthday
— Imran Khan (@ImranKhanPTI) November 1, 2019
इसके अलावा पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने तीसरा ऐलान किया था कि करतारपुर साहिब दर्शन के लिए रजिस्ट्रेशन की जानकारी दस दिन पहले पाकिस्तान को देनी जरूरी नहीं होगी, लेकिन उन्हीं की सरकार के प्रवक्ता ने इमरान की बातों से विपरीत बयान दिया। पाकिस्तान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता शाह फैसल ने कहा कि 10 दिन पहले जानकारी देनी होगी। पाकिस्तान की नीयत से भारत अच्छी तरह से वाकिफ है। इसलिए उसने यहाँ से जाने वाले श्रद्धालुओं को पहले ही कह दिया था कि भारत सरकार भारतीय श्रद्धालुओं की लिस्ट पाकिस्तान को दस दिन पहले भेजा करेगी।
गुरूवार (नवंबर 7, 2019) को भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा कि पाकिस्तान से बहुत ही विरोधाभासी खबरें आ रही हैं। कभी कहा जाता है कि पासपोर्ट चाहिए और कभी कहा जाता है कि नहीं चाहिए। उन्हें इस तरह का दिखावा करने की कोई जरूरत नहीं है कि वह इस कॉरिडोर के लिए बहुत कुछ कर रहे हैं। जहाँ तक भारत का सवाल है तो हम समझौते के मुताबिक चल रहे हैं। समझौते में साफ है कि पहचान पत्र के तौर पर पासपोर्ट अनिवार्य होगा।