मारुति के पूर्व एमडी जगदीश खट्टर (77) के खिलाफ सीबीआई ने धोखाधड़ी का केस दर्ज कर उन्हें हिरासत में लिया है। सीबीआई अधिकारियों ने ये जानकारी मंगलवार (दिसंबर 24, 2019) को दी। खट्टर फिलहाल कारनेशन ऑटो इंडिया कंपनी के डायरेक्टर हैं। जिनपर पंजाब नेशनल बैंक से 110 करोड़ रुपए का घोटाला करने का आरोप है। इस संबंध में सीबीआई ने खट्टर के ठिकानों और कंपनी के दफ्तरों में सोमवार को छापेमारी भी की। बता दें सीबीआई ने मारुति के पूर्व एमडी पर ये कार्रवाई बैंक की शिकायत पर की।
CBI has filed FIR against Director of Carnation Auto India, Jagdish Khattar(former Maruti MD) and the said company(Carnation Auto India) and other unknown private person under criminal breach of trust,cheating and criminal misconduct. pic.twitter.com/6bBhdQxUt4
— ANI (@ANI) December 24, 2019
साल 2007 में मारुति से एमडी के पद पर रिटायर हो चुके खट्टर ने एक साल बाद कारनेशन कंपनी की शुरुआत की थी। जो कार एक्सेसरीज और पुरानी कारें बेचती थी। कारनेशन ने 2009 में पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) से 170 करोड़ रुपए का लोन लिया था। लेकिन साल 2015 में ये लोन एनपीए घोषित हो गया। इससे पीएनबी को 110 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ। इस मामले में पीएनबी ने आपराधिक षडयंत्र और धोखाधड़ी का केस दर्ज करवाया।
इस मामले में खट्टर पर आरोप लगा कि खट्टर की कंपनी ने बैंक के पास जिन एस्टेट्स को गिरवी रखा था, उन्हें भी धोखे से बेचा जा चुका है। जिसका पता बैंक को फॉरेंसिक ऑडिट में चला कि इन लोगों ने 6692.48 लाख की फिक्सड संपत्तिको मात्र 455.89 लाख रुपए में बेच दिया और प्राप्त हुई रकम भी बैंक में जमा नहीं करवाई। जिसके बाद बैंक ने इसे धोखाधड़ी करार दिया और कानूनी कार्रवाई के लिए शिकायत की।
गौरतलब है कि पीएनबी ने अपनी शिकायत में कारनेशन के अलावा तीन गारंटर कंपनियों- खट्टर ऑटो इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, कारनेशनल रिएलिटी प्राइवेट लिमिटेड और कारनेशन इंश्योरेंस ब्रोकिंग कंपनी प्राइवेट लिमिटेड को भी आरोपित बनाया है। लेकिन मामले की शुरुआती जाँच में गारंटर कंपनियों की प्रत्यक्ष भूमिका सामने नहीं आई। अब सीबीआई अपनी आगे की जाँच के बाद इन कंपनियों की भूमिका को तय करेगी।