पद्म भूषण सम्मान से सम्मानित अमेरिकी वैदिक शिक्षक डेविड फ्रॉली ने बुधवार (अगस्त 5, 2020) को कहा कि राम मंदिर के निर्माण की शुरुआत एक अरब सपनों का साकार होना है। बता दें कि डेविड फ्रॉली वेद, हिंदुत्व, योग, आयुर्वेद और वैदिक एस्ट्रॉलजी पर कई किताबें लिख चुके हैं।
डेविड फ्रॉली ने टाइम्स नाउ के प्रधान संपादक राहुल शिवशंकर के साथ एक्सक्लुसिव इंटरव्यू में राम मंदिर पर अपने विचार रखते हुए कहा कि भगवान राम की महिमा को पुन: स्थापित किया गया है। उन्होंने आगे कहा कि अयोध्या विवाद संभवतः दुनिया के इतिहास में सबसे अधिक समय तक चलने वाला मुकदमा था।
डेविड फ्रॉली ने राम मंदिर के निर्माण को देश की आजादी के बाद आधुनिक भारत की सबसे महत्वपूर्ण घटना बताते हुए कहा कि रामायण एशिया की सबसे लोकप्रिय कहानियों में से एक है और अब राम मंदिर भारत को उसके वास्तविक भाग्य के प्रति जागृत करेगा। उन्होंने आगे कहा, “हमें ‘अयोध्या के विजय’ को श्री राम की विजय के रूप में स्वीकार करना चाहिए।”
फ्रॉली ने कहा कि अयोध्या भारत के सात पवित्र शहरों में सबसे महत्वपूर्ण है। इसके साथ ही उन्होंने कहा, “हिंदू धर्म एक परंपरा है जो कई प्रकार के आध्यात्मिक मार्ग स्वीकार करता है। यह संकीर्ण विचारधारा वाली परंपरा नहीं है।”
फ्रॉली ने आगे कहा, “हिंदुओं ने अपने मंदिरों के पुन: प्राप्ति के लिए राजनीतिक रूप से कोई स्टैंड नहीं लिया। जब तक हिंदू राजनीतिक रूप से स्टैंड नहीं लेगें, उन्हें अल्पसंख्यक ही माना जाएगा, उन जगहों पर भी, जहाँ पर वो बहुसंख्यक हैं।”
The building of the Ram Janmabhoomi temple is a defeat for Nehruvians, Marxists, Maoists, China supporters, and the media and academia that tried to deny history and archaeology and denigrate bhakti, finding Sri Ram to be a threat to their arrogant pursuit of power.
— Dr David Frawley (@davidfrawleyved) August 5, 2020
फ्रॉली ने ट्वीट करते हुए लिखा था, “राम मंदिर का निर्माण नेहरूवादियों, मार्क्सवादियों, माओवादियों, चीन समर्थकों, मीडिया और शिक्षाविदों के लिए हार है, जिसने इतिहास, पुरातत्व और भक्ति को नकारने की कोशिश की थी।”
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अयोध्या में बुधवार को राम मंदिर निर्माण के लिए भूमि पूजन किया और मंदिर की आधारशिला रखी। इसके बाद उन्होंने लोगों को संबोधित करते हुए कहा, “यह मेरा सौभाग्य था कि श्री राम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने मुझे मंदिर निर्माण के भूमि पूजन में आमंत्रित किया। आज पूरा देश राममय और हर मन दीपमय है। सदियों का इंतजार समाप्त हुआ।”
पीएम मोदी ने कहा, ”राम हमारे मन में गढ़े हुए हैं, हमारे भीतर घुल-मिल गए हैं। कोई काम करना हो, तो प्रेरणा के लिए हम भगवान राम की ओर ही देखते हैं। भगवान राम की अद्भुत शक्ति देखिए। इमारतें नष्ट कर दी गईं, अस्तित्व मिटाने का प्रयास भी बहुत हुआ, लेकिन राम आज भी हमारे मन में बसे हैं, हमारी संस्कृति का आधार हैं। श्रीराम भारत की मर्यादा हैं, श्रीराम मर्यादा पुरुषोत्तम हैं।”