बॉलीवुड अभिनेत्री स्वरा भास्कर ने भी अब गाजियाबाद के लोनी में आपसी विवाद में हुई एक घटना को सांप्रदायिक रंग दिया है। और तो और, स्वरा भास्कर को एक म्यूट वीडियो में भी आवाज़ सुनाई दे गई। स्वरा ने इस सम्बन्ध में मंगलवार (जून 15, 2021) को रात सवा 9 बजे ट्वीट किया। इससे साफ़ है कि उन्होंने ये सब AltNews वाले मोहम्मद जुबैर और ट्विटर पर FIR की खबर सामने आने के बाद किया।
स्वरा भास्कर ने अपनी ट्वीट में लिखा, “गाजियाबाद पुलिस ने 3 मुस्लिमों को आरोपित क्या बनाया, मेरी टाइमलाइन पर दक्षिणपंथी और संघी उल्टियाँ करने पहुँच गए हैं। अरे बेहूदों, मुख्य आरोपित परवेश गुज्जर है, ये एक वास्तविकता है। ये व्यक्ति वीडियो में भी दिख रहा है, जो कैमरा के सामने ही बुजुर्ग पीड़ित को ‘जय श्री राम’ बोलने के लिए मजबूर कर रहा है। हाँ, ये मेरे धर्म और मेरे ईश्वर को दूषित करने का प्रयास है।”
स्वरा भास्कर ने लिखा कि इस घटना के कारण वो शर्मिंदा हैं और बाकी लोगों को भी शर्म आनी चाहिए। इस ट्वीट में स्वरा भास्कर ने लिखा कि वीडियो में ‘जय श्री राम’ नारा लगाने को मजबूर किए जाने की बात सुनाई दे रही है, जबकि सच्चाई ये है कि ट्विटर पर वायरल हुए वीडियो में साउंड ही नहीं है और ये म्यूट है। फिर, स्वरा भास्कर को उसमें आवाज़ कैसे सुनाई दे गई? क्या उन्होंने कोई एलियन तकनीक का इस्तेमाल किया?
गाजियाबाद पुलिस ने इस ट्वीट की रिप्लाई में अपने पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) के बयान का वीडियो भी ट्वीट किया, लेकिन इसके बावजूद स्वरा ने अपना ट्वीट डिलीट करना गवारा नहीं समझा। एक अन्य ट्वीट में स्वरा ने तंज कसते हुए लिखा कि कुछ मुस्लिमों के एक मुस्लिम बुजुर्ग को पीटा, उसकी दाढ़ी काट दी और ‘जय श्री राम’ बोलने को मजबूर किया, इस पर मैं विश्वास कर लूँगी। साथ ही पूछा कि क्या यही पूरी कहानी है?
Agree. I can believe a bunch of Muslims beat up an old Muslim man, but forced him to chant #JaiShriRam & cut off his beard?! That really the whole story? Anyway.. Love how Sanghis r conveniently ignoring the prime accused that Pravesh who beat the old man & forced him to chant! https://t.co/wv4XQFSRuj
— Swara Bhasker (@ReallySwara) June 15, 2021
साथ ही वो बार-बार मुख्य आरोपित का नाम लेती रहीं। उन्होंने कॉन्ग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गाँधी के उस ट्वीट को भी शेयर किया, जिसमें उन्होंने इस खबर को फैलाते हुए लिखा था कि वो ये मानने को तैयार ही नहीं हैं कि श्रीराम के सच्चे भक्त ऐसा कर सकते हैं। एक अन्य ट्वीट में उन्होंने लिखा कि देश-विदेश में रहने वाे हिन्दू चाहते हैं कि मुस्लिम आतंकवाद की निंदा करें, लेकिन उनके ईश्वर के नाम पर ‘क्रूरता’ पर वो चुप हैं, जिससे मैं शर्मिंदा हूँ।
बता दें कि लोनी थाने में फेक न्यूज़ फैलाने के आरोप में मोहम्मद जुबैर, मीडिया पोर्टल ‘द वायर’, राणा अयूब, सलमान निजामी और सबा नकवी, सबा मोहम्मद और मक़सूर उस्मानी के खिलाफ FIR दर्ज हुई है। पुलिस ने कहा कि आरोपित और पीड़ित पहले से परिचित थे। अब्दुल समद ने ताबीज देकर इसके सकारात्मक परिणाम का आश्वासन दिया था। ताबीज ने काम नहीं किया तो आरोपितों ने उसे पीट दिया। व्यक्तिगत विवाद की इस घटना में आरोपितों में हिन्दू और मुस्लिम, दोनों समुदायों के लोग थे।