दिल्ली की शराब नीति को लेकर उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। सिसोदिया का करीबी और आबकारी घोटाला मामले का आरोपित दिनेश अरोड़ा सरकारी गवाह बनने को तैयार हो गया है। उसने कहा है कि वह बिना किसी दबाव के सरकारी गवाह बनना चाहता है। इसके लिए दिनेश ने दिल्ली के राउज एवेन्यू कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। उसने कहा कि वह इस मामले में अपनी भूमिका और इससे जुड़े सच से पर्दा उठाएँगे।
कोर्ट इस मामले में 14 नवंबर को सुनवाई करेगा और उसका बयान दर्ज किया जाएगा। राऊज एवेन्यू कोर्ट उसके बाद तय करेगा कि दिनेश अरोड़ा को सरकारी गवाह बनाया जाए या नहीं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दिनेश अरोड़ा सोमवार (7 नवंबर, 2022) को अदालत में पेश हुआ और कहा कि वह अपनी मर्जी से सरकारी गवाह बनने के लिए तैयार हुआ है। अरोड़ा ने कहा, “मैं इस मामले से जुड़े सभी तथ्य अदालत के समक्ष रखूँगा।”
इस पर कोर्ट ने आरोपित से पूछा कि उस पर किसी तरह का कोई दबाव तो नहीं है या सीबीआई की तरफ से कोई धमकी तो नहीं दी गई है, तो आरोपित ने कहा, “मैं इस मामले में मेरे ऊपर जो आरोप लगे हैं और अपनी भूमिका के बारे में सब कुछ सच बताऊँगा। मैं जाँच में भी सहयोग करता रहा हूँ और आगे भी करता रहूँगा। मैं जाँच अधिकारी के सामने कुछ स्टेटमेंट दे चुका हूँ और कोर्ट के सामने अपना कंफेशन स्टेटमेंट भी दे चुका हूँ।”
बता दें कि इससे पहले सीबीआई ने अपनी प्राथमिकी में कहा था कि अमित अरोड़ा, दिनेश अरोड़ा और अर्जुन पांडे मनीष सिसोदिया के करीबी सहयोगी थे और शराब लाइसेंसधारियों से इकट्ठा किए गए पैसों का प्रबंधन करने में सक्रिय रूप से शामिल थे। सिसोदिया इस मामले में मुख्य आरोपित हैं। जाँच एजेंसी ने यह भी कहा था कि इंडोस्पिरिट्स के निदेशक समीर महेंद्रू ने एक करोड़ रुपए राधा इंडस्ट्रीज के अकाउंट में ट्रांसफर किए। यह इंडस्ट्री अरोड़ा की है।
गौरतलब है कि दारू घोटाले में घिरने के बाद दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) को सीबीआई (CBI) ने अक्टूबर 2022 में पूछताछ के लिए बुलाया था। सीबीआई ने उनसे करीब 9 घंटे तक पूछताछ की थी, जिसके बाद सिसोदिया ने दावा किया था कि CBI ने उन पर AAP छोड़ने का दबाव डाला। जाँच एजेंसी ने इन दावों को खारिज करते हुए कहा था कि पूछताछ वैधानिक और पेशेवर तरीके से हुई है।