हिंदी को लेकर चल रहे विवाद में एक अप्रिय मोड़ लाते हुए राज्य की मुख्य विपक्षी पार्टी द्रमुक ने तमिलनाडु में साइनबोर्डों पर हिंदी लिखे हिस्सों को काला करना शुरू कर दिया है। इसकी शुरुआत एक रेलवे स्टेशन से हुई है जहाँ पार्टी की युवा विंग के कार्यकर्ताओं ने वेल्लोर क्षेत्र के गुडियाट्टम स्टेशन पर बुधवार (18 सितंबर, 2019) को बोर्ड पर स्टेशन का नाम हिंदी में लिखने वाले हिस्सों पर काला रंग पोत दिया। इसके अलावा वे ‘Get Out Hindhi’ लिखे हुए बोर्ड भी हाथ में लिए थे।
शाह के बयान पर बवाल
गत 14 सितंबर को हिंदी दिवस के मौके पर केंद्रीय गृह मंत्री और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने हिंदी को भारत की वैश्विक पहचान और भारत को एक करने वाले भाषा बनाने के उद्गार व्यक्त किए थे। उसके बाद से तमिलनाडु में, जो हिंदी-विरोध का गढ़ रहा है, इस मुद्दे पर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया। द्रमुक ने राज्य भर में 20 सितंबर को इसके खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने का ऐलान किया है।
चिदंबरम, रजनीकांत, कमल हासन ने किया विरोध
इस मामले में भाजपा को आम तमिल ही नहीं, राज्य की प्रभावशाली हस्तियों के भी विरोध का सामना करना पड़ रहा है। इनमें फिल्म अभिनेताओं रजनीकांत और कमल हासन के अलावा राज्य से आने वाले पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री पी चिदंबरम भी शामिल हैं। चिदंबरम के ट्विटर अकाउंट से उनके परिवार द्वारा की गई पोस्ट में दावा किया गया कि हिंदी के ज़रिए देश के एकीकरण का विचार खतरनाक है, और अहिंदी-भाषी राज्यों के लोग इसका विरोध करेंगे। ट्वीट में द्रमुक के 20 सितंबर के प्रदर्शन में कॉन्ग्रेस को भी हिस्सा बनाने की भी अपील राज्य कॉन्ग्रेस समिति के अध्यक्ष केएस अलागिरी से की गई थी।
I have asked my family to tweet on my behalf the following:
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) September 18, 2019
A dangerous idea that Hindi alone can unite the people of this country has been floated.
The Tamil people, as well as all others who speak other languages, will never allow the imposition of Hindi.
I urge the TNCC president @KS_Alagiri to ask all Congress workers to join the state-wide protest announced by the DMK on 20.09.2019 to oppose the imposition of Hindi.
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) September 18, 2019