Monday, December 23, 2024
Homeराजनीतिविधानसभा से चोरी हुए क़ीमती फर्नीचर, मिले कहाँ? पूर्व स्पीकर के घर और उनके...

विधानसभा से चोरी हुए क़ीमती फर्नीचर, मिले कहाँ? पूर्व स्पीकर के घर और उनके बेटे के शोरूम में

पूर्व स्पीकर के बेटे के शोरूम में कम से कम 70 ऐसी चीजें थीं, जिन्हें विधानसभा से चुरा कर लाया गया था।

आंध्र प्रदेश विधानसभा से कुछ क़ीमती फर्नीचर गायब हो गए थे। इस सम्बन्ध में पुलिस ने केस भी दर्ज किया था। अब यही फर्नीचर विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष कोडेला शिवा प्रसाद राव के गुंटूर स्थित निजी दफ़्तर से मिले हैं। ऐसा करने के लिए वह अनधिकृत हैं क्योंकि विधानसभा की संपत्ति को कोई भी नेता अपने व्यक्तिगत प्रयोग के लिए इस्तेमाल नहीं कर सकता।

राजस्व विभाग और विधानसभा के अधिकारियों ने गुंटूर स्थित गौतम हीरो शोरूम से भी कुछ फर्नीचर बरामद किए। ये शोरूम पूर्व विधानसभाध्यक्ष के बेटे शिवराम कृष्णा का है। दोनों पिता-पुत्र के ख़िलाफ़ विधानसभा की संपत्ति को व्यक्तिगत प्रयोग के लिए कहीं और लेकर जाने के सम्बन्ध में मामला दर्ज किया गया। विधानसभा के अधिकारियों ने पहले ही फर्नीचर की पहचान कर ली थी और उसके बाद मामला दर्ज किया गया।

शोरूम में कम से कम 70 ऐसी चीजें थीं, जिन्हें विधानसभा से चुरा कर लाया गया था। हालाँकि, विधानसभा अधिकारियों ने जिन चीजों की सूची दी थी, उनकी संख्या इससे कम ही थी। पूर्व विधानसभाध्यक्ष के ख़िलाफ़ धारा 409 (लोक सेवक या बैंक कर्मचारी, व्यापारी या अभिकर्ता द्वारा विश्वास का आपराधिक हनन) और धारा 411 (चुराई हुई संपत्ति को बेईमानी से प्राप्त करना) के तहत मामला दर्ज किया गया है।

विधानसभा के अधिकारी एम ईश्वर राव की शिकायत पर पुलिस ने मामला दर्ज किया है। ईश्वर राव ने हाईकोर्ट से अनुमति माँगी थी कि पूर्व विधानसभा स्पीकर के दफ्तर और उनके बेटे के शोरूम से विधानसभा की सम्पत्तियाँ वापस ली जाएँ। उन्होंने उच्चाधिकारियों को इस सम्बन्ध में जून में ही पत्र लिखा था लेकिन इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं की गई।

पूर्व विधानसभा अध्यक्ष राव ने स्वीकार किया था कि विधानसभा के फर्नीचर को हैदराबाद से अमरावती ट्रांसफर करते समय उनमें से कुछ फर्नीचर उनके आवास पर भेजे गए थे। पूर्व स्पीकर का कहना था कि फर्नीचर अस्थायी विधानसभा में ख़राब हो सकते थे, इसीलिए उनकी सुरक्षा और मेंटेनन्स के लिए ऐसा किया गया। टीडीपी नेता राव ने हालिया चुनाव में हार का सामना किया है। विवाद होने के बाद यह फर्नीचर के रुपए देने के लिए भी तैयार हैं।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

किसी का पूरा शरीर खाक, किसी की हड्डियों से हुई पहचान: जयपुर LPG टैंकर ब्लास्ट देख चश्मदीदों की रूह काँपी, जली चमड़ी के साथ...

संजेश यादव के अंतिम संस्कार के लिए उनके भाई को पोटली में बँधी कुछ हड्डियाँ मिल पाईं। उनके शरीर की चमड़ी पूरी तरह जलकर खाक हो गई थी।

PM मोदी को मिला कुवैत का सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘द ऑर्डर ऑफ मुबारक अल कबीर’ : जानें अब तक और कितने देश प्रधानमंत्री को...

'ऑर्डर ऑफ मुबारक अल कबीर' कुवैत का प्रतिष्ठित नाइटहुड पुरस्कार है, जो राष्ट्राध्यक्षों और विदेशी शाही परिवारों के सदस्यों को दिया जाता है।
- विज्ञापन -