Sunday, December 22, 2024
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‘मुस्लिम हूँ इसीलिए नहीं करता था नमस्ते, आदाब की थी आदत’: आमिर खान ने हिन्दू अभिवादन परंपरा को बताया ‘अद्भुत भावना’, बोले – शूटिंग के दौरान पता चला इसका महत्व

'नमस्ते' शब्द संस्कृत ग्रंथों में भी मिलता है, ये एक प्राचीन शब्द है। आमिर खान ने कहा कि ये कहानी उनके दिल के बिलकुल करीब है। उन्होंने बताया कि 'रंग दे बसंती' की शूटिंग के दौरान...

बॉलीवुड अभिनेता आमिर खान ने बताया है कि पंजाब में ‘रंग दे बसंती’ (2006) और ‘दंगल’ (2016) की शूटिंग के दौरान उन्हें ‘नमस्ते’ का महत्व पता चला। Netflix पर ‘द ग्रेट इंडियन कपिल शो’ में आए आमिर खान ने कहा कि ‘दंगल’ की शूटिंग के दौरान उन्होंने पंजाब के ग्रामीणों को काफी विनम्र पाया। इसी ढाई महीने के दौरान उन्हें ‘नमस्ते’ का महत्व पता चला। उन्होंने कहा कि ये एक अद्भुत भावना है। बता दें कि भारत में हाथ जोड़ कर ‘नमस्ते’ बोल कर एक-दूसरे के अभिवादन की परंपरा रही है।

‘नमस्ते’ शब्द संस्कृत ग्रंथों में भी मिलता है, ये एक प्राचीन शब्द है। आमिर खान ने कहा कि ये कहानी उनके दिल के बिलकुल करीब है। उन्होंने बताया कि ‘रंग दे बसंती’ की शूटिंग के दौरान उन्हें पंजाब में रहना काफी अच्छा लगता था, वहाँ के लोग और वहाँ की संस्कृति सब में प्यार भरा हुआ है। वहीं ‘दंगल’ की शूटिंग के दौरान उन्हें एक छोटे से गाँव में एक घर में शूटिंग करनी पड़ती थी। बता दें कि ‘दंगल’ पहलवान महावीर सिंह फोगाट के जीवन पर आधारित है, जिन्होंने अपनी चारों बेटियों को अंतरराष्ट्रीय स्तर का रेसलर बनाया।

आमिर खान ने बताया, “आप यकीन नहीं करोगे, लेकिन जब मैं सुबह के 5 या 6 बजे वहाँ पहुँचता था, जैसे ही मेरी कार गुजरती थी तो लोग अपने-अपने घरों के बाहर हाथ जोड़ कर मेरा स्वागत करने के लिए खड़े हो जाते थे। वो ‘सत श्री अकाल’ कहते थे। वो मेरा स्वागत करने के लिए इंतज़ार करते रहते थे। उन्होंने कभी मुझे परेशान नहीं किया, न ही मेरे कार को कभी रोकने की कोशिश की। पैकअप के बाद जब मैं वापस लौटता था तो वो फिर से अपने घरों के बाहर मुझे ‘गुड नाइट’ विश करने के लिए खड़े रहते थे।”

आमिर खान का ये भी कहना है कि मुस्लिम होने के कारण उन्हें ‘नमस्ते’ के लिए हाथ जोड़ने की आदत नहीं थी। उन्होंने कहा कि वो एक मुस्लिम परिवार से ताल्लुक रखते हैं, ऐसे में उन्हें ‘आदाब’ वाले और सिर झुकाने वाले अभिवादन की आदत थी। बता दें कि ‘आदाब’ करने के लिए मुस्लिम हाथ को सिर तक ले जाते हैं। लेकिन, पंजाब में रहने के बाद आमिर खान को ‘नमस्ते’ का महत्व पता चला। ये पहली बार है जब आमिर खान कॉमेडियन कपिल शर्मा के शो में पहुँचे।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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