Monday, December 23, 2024
Homeरिपोर्टराष्ट्रीय सुरक्षाबांग्लादेश से आकर भारत में अवैध ढंग से रह रहे थे अलकायदा के 2...

बांग्लादेश से आकर भारत में अवैध ढंग से रह रहे थे अलकायदा के 2 आतंकी, गुवाहाटी रेलवे स्टेशन पर गिरफ्तार: असम में टेरर नेटवर्क फैलाने का मिला था काम

दोनों आतंकी बांग्लादेश से हैं और भारत में अवैध ढंग से बिन किसी पारपोर्ट के रह रहे थे। इनके पास से कुछ भारतीय दस्तावेज भी मिले हैं जिनका इस्तेमाल ये लोग असम में आतंकी नेटवर्क फैलाने के लिए रहे थे।

असम के गुवाहाटी में सोमवार (13 मई 2024) को रेलवे स्टेशन पर अलकायदा से जुड़े दो संदिग्ध आतंकियों को गिरफ्तार किया गया है। छानबीन में सामने आया है कि ये लोग आतंकवादी संगठन अल कायदा इन इंडियन सबकॉन्टिनेंट से संबंध रखते हैं। इनकी पहचान बहार मिया (30) और रेयरली मिया (40) के तौर पर हुई है।

समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार, दोनों आतंकी बांग्लादेश से हैं और भारत में अवैध ढंग से बिन किसी पारपोर्ट के रह रहे थे। इनके पास से कुछ भारतीय दस्तावेज भी मिले हैं जिनका इस्तेमाल ये लोग असम में आतंकी नेटवर्क फैलाने के लिए रहे थे।

एक अधिकारी ने इस संबंध में जानकारी दी है कि ये दोनों युवाओं को आतंकी संगठन में शामिल होने के लिए प्रेरित कर रहे थे। उन्होंने आगे कहा, “ये दोनों असम में आतंकी गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए अवैध रूप से रह रहे थे। उनके पास से आधार और पैन कार्ड समेत अन्य दस्तावेज बरामद किए गए।”

बता दें कि इससे पहले भी असम में बांग्लादेशी आतंकी संगठन अंसारुल बांग्ला टीम (एबीटी) अब्दुस सुकुर अली की गिरफ्तारी हुई थी। इस संबंध में खुद असम के सीएम हिमंता बिस्वा सरमा ने जानकारी देते हुए बताया था कि “आतंकी अब्दुस सुकुर अली को भारत-बांग्लादेश सीमा के पास पकड़ा गया।”

सीएम बिस्वा ने कहा था असम में आतंकी मॉड्यूल को समय-समय पर नष्ट किया गया है और यह आगे भी जारी रहेगा। साल 2023 अप्रैल में धुबरी से एबीटी से जुड़े तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया था।

गौरतलब है कि बीते साल असम पुलिस ने एबीटी और भारतीय उपमहाद्वीप में अल कायदा (एक्यूएलएस)के नौ मॉड्यूल का खुलासा किया था और इससे जुड़े 53 लोगों को गिरफ्तार किया था। इन गिरफ्तारियों के बाद ऐसे प्राइवेट मदरसों को जमींदोज किया गया था जहाँ आतंकी संगठन से जुड़े शिक्षक युवकों को कट्टरपंथ का एबीसीडी पढ़ा रहे थे।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

किसी का पूरा शरीर खाक, किसी की हड्डियों से हुई पहचान: जयपुर LPG टैंकर ब्लास्ट देख चश्मदीदों की रूह काँपी, जली चमड़ी के साथ...

संजेश यादव के अंतिम संस्कार के लिए उनके भाई को पोटली में बँधी कुछ हड्डियाँ मिल पाईं। उनके शरीर की चमड़ी पूरी तरह जलकर खाक हो गई थी।

PM मोदी को मिला कुवैत का सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘द ऑर्डर ऑफ मुबारक अल कबीर’ : जानें अब तक और कितने देश प्रधानमंत्री को...

'ऑर्डर ऑफ मुबारक अल कबीर' कुवैत का प्रतिष्ठित नाइटहुड पुरस्कार है, जो राष्ट्राध्यक्षों और विदेशी शाही परिवारों के सदस्यों को दिया जाता है।
- विज्ञापन -